H3N2 Influenza: देश के कुछ हिस्सों में इन्फ्लुएंजा के मामलों में वृद्धि देखी जा रही है. कई लोग इस बीमारी की शिकायत लेकर अस्पतालों में भर्ती हो रहे हैं. इस बीच दिल्ली सरकार ने लोगों के लिए एक एडवाइजरी जारी की है, जिसमें लोगों से एहतियाती उपाय करने का आग्रह किया गया है, जैसे कि भीड़-भाड़ वाली जगहों से दूर रहना, हाथ धोना आदि. स्वास्थ्य केंद्रों, अस्पतालों और निगरानी यूनिट्स को निर्देश दिया गया है कि इस मामले में उचित जागरूकता फैलाया जाए.
दिल्ली में रोजाना आ रहे करीब 30 मामले
एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए, दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने शुक्रवार को कहा कि शहर सरकार ने संबंधित अधिकारियों को राष्ट्रीय राजधानी में इन्फ्लूएंजा के मामलों की जांच के लिए शीघ्र जांच करने का निर्देश दिया है.
उन्होंने आगे कहा कि जिन लोगों को गंभीर अस्थमा या कोविड हुआ है, वे इन्फ्लूएंजा से सबसे अधिक प्रभावित होते हैं. 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों, पांच साल से कम उम्र के बच्चों और फेफड़ों की बीमारियों से पीड़ित लोगों के लिए अतिरिक्त सावधानी बरतने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि वर्तमान में लोकनायक अस्पताल में प्रतिदिन 20 और अन्य अस्पतालों में 7-8 मामले सामने आ रहे हैं.
H3N2 Influenza : क्या है H3N2 इन्फ्लूएंजा के लक्षण?, कैसे फैलती है दूसरों में ये बीमारी?
दिल्ली सरकार फैलाएगी जागरूकता
सौरभ भारद्वाज ने लोगों से न घबराने को कहा है क्योंकि यह इन्फ्लुएंजा का मौसम है. उन्होंने कहा, “हमें बस सावधान और जिम्मेदार होना है.” दिल्ली सरकार ने समाचार पत्रों और एफएम रेडियो के माध्यम से विज्ञापनों के साथ क्या करें और क्या न करें के साथ सलाह जारी करने की योजना बनाई है. लोगों से अपील की जा रही है कि खांसते और छींकते वक्त रुमाल का इस्तेमाल करें. सलाह लोगों को बीमार लोगों से एक हाथ की दूरी बनाए रखने के लिए प्रोत्साहित करती है. इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) के अनुसार, इन्फ्लुएंजा के मामलों में वृद्धि इन्फ्लुएंजा ए सब-टाइप H3N2 वायरस के कारण होती है.
क्या है H3N2 वायरस
H3N2 इन्फ्लूएंजा का दूसरा नाम हॉन्ग-कॉन्ग फ्लू (Hong Kong flu) है. इन्फ्लूएंजा ए वायरस (Influenza A virus) का सब-टाइप H3N2 इन्फ्लूएंजा है. इस वायरस की चपेट में आने से मरीज को सांस संबधी परेशानियों का समना करना पड़ सकता है. इसका संक्रमण लोगों में आसानी से फैलता है. H3N2 इन्फ्लूएंजा ने अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी की है. वायरस के इस सब-टाइप ने अतीत में कई इन्फ्लूएंजा का प्रकोप किया है. हाल ही में एंटी माइक्रोबियल रेजिस्टेंस के लिए बनी इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की स्टैंडिंग कमिटी ने एक बयान में कहा कि वायरल संक्रमण के मामलों में तेजी की वजहों में से वायु प्रदूषण भी एक हो सकती है. इसके अलावा मौसम में बदलाव भी एक कारण हो सकती है.