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Economic Outlook: FY23 में 7.5% की दर से बढ़ेगी भारतीय इकॉनमी, लेकिन अगले साल ग्रोथ में और तेजी का अनुमान- एशियाई विकास बैंक रिपोर्ट

Economic Outlook: भारतीय इकॉनमी चालू वित्त वर्ष 2022-23 में 7.5 फीसदी की दर से बढ़ेगी. इसके बाद भारतीय इकॉनमी को बूस्ट अप मिलेगा और अगले वित्त वर्ष में यह 8 फीसदी की दर से बढ़ेगी.

Economic Outlook: भारतीय इकॉनमी चालू वित्त वर्ष 2022-23 में 7.5 फीसदी की दर से बढ़ेगी. इसके बाद भारतीय इकॉनमी को बूस्ट अप मिलेगा और अगले वित्त वर्ष में यह 8 फीसदी की दर से बढ़ेगी.

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दक्षिण एशियाई देशों की इकॉनमी 2022 में 7 फीसदी को 2023 में 7.4 फीसदी की दर से बढ़ने का अनुमान है.

दक्षिण एशियाई देशों की इकॉनमी 2022 में 7 फीसदी को 2023 में 7.4 फीसदी की दर से बढ़ने का अनुमान है.

Economic Outlook: दक्षिण एशियाई देशों की इकॉनमी चालू वित्त वर्ष में 7 फीसदी की दर से बढ़ेगी लेकिन अगर इस क्षेत्र की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था की बात करें तो भारतीय इकॉनमी चालू वित्त वर्ष 2022-23 में 7.5 फीसदी की दर से बढ़ेगी. इसके बाद भारतीय इकॉनमी को बूस्ट अप मिलेगा और अगले वित्त वर्ष में यह 8 फीसदी की दर से बढ़ेगी. यह अनुमान एशियाई विकास बैंक (ADB) ने अपने एशियन डेवलपमेंट आउटलुक (ADO) 2022 में व्यक्त किया है. इस रिपोर्ट के मुताबिक मनीला की मल्टी-लैटरल फंडिंग एजेंसी का अनुमान है कि 2022 में दक्षिण एशियाई देशों की इकॉनमी 7 फीसदी की सुस्त गति से बढ़ेगी और अगले साल 2023 में यह 7.3 फीसदी की दर से बढ़ेगी.

भारत-पाकिस्तान दक्षिण एशियाई क्षेत्र में दो अहम इकॉनमी

साउथ एशियाई क्षेत्र में ग्रोथ का दारोमदार मुख्य रूप से भारत और पाकिस्तान पर है यानी कि ये दोनों देश इस पूरे इलाके की ग्रोथ पर असर डालते हैं. दक्षिण एशियाई देशों की इकॉनमी 2022 में 7 फीसदी को 2023 में 7.4 फीसदी की दर से बढ़ने का अनुमान है. वहीं भारत की बात करें तो चालू वित्त वर्ष में इसकी इकॉनमी 7.5 फीसदी की दर से तो अगले वित्त वर्ष 2023-24 में यह 8 फीसदी की दर से बढ़ सकती है. पाकिस्तानी अर्थव्यवस्था की बात करें तो मौद्रिक सख्ती से कमजोर घरेलू मांग और राजकोषीय कंसालिडेशन के चलते 2022 में यह 4 फीसदी और अगले साल 2023 में 4.5 फीसदी की दर से बढ़ सकती है.

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इकनॉमिक आउटलुक के लिए ये हैं रिस्क

एडीबी आउटलुक के मुताबिक रूस और यूक्रेन के बीच लड़ाई के चलते उपजी अनिश्चितता, कोरोना महामारी और अमेरिकी फेडरल रिजर्व की सख्ती के चलते इकॉनमी के लिए रिस्क बना हुआ है. दक्षिण एशिया में अफगानिस्तान, बांग्लादेश, भूटान, भारत, मालदीव, नेपाल, पाकिस्तान और श्रीलंका आते हैं. एडीबी के प्रमुख अर्थशास्त्री एल्बर्ट पर्क के मुताबिक इस इलाके की सरकारों को इन खतरों से निपटने को लेकर सावधान रहना होगा. इसमें अपने सभी नागरिकों का कोविड वैक्सीनेशन और इंफ्लेशन की स्थिति की मॉनीटरिंग शामिल है.

(Input: PTI)

Economic Growth Asian Development Bank