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In September 2019, CARE Ratings had downgraded Reliance Capital’s Rs 17,000-crore debt to default grade ‘D’.
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YES BANK: यस बैंक मामले में चल रही मनी लॉन्ड्रिंग जांच के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने सोमवार को रिलायंस ग्रुप (Reliance Group) के चेयरमैन अनिल अंबानी (Anil Ambani) को समन भेजा है. जांच एजेंसी की तरफ से यस बैंक के प्रमोटर राणा कपूर (Rana Kapoor) और अन्य लोगों के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच की जा रही है. ईडी ने अनिल अंबानी को मुंबई स्थित प्रवर्तन निदेशालय के दफ्तर में पेश होने के लिए कहा है. वहीं, ईडी अधिकारियों के अनुसार, रिलायंस ग्रुप के चेयरमैन अनिल अंबानी ने एक स्थगन आवेदन दाखिल किया है और ईडी के सामने पेश होने के लिए कुछ और समय मांगा है.
इससे पहले जांच एजेंसी की तरफ से यह माना जा रहा था कि स्वास्थ्य के आधार पर अंबानी पेश होने से छूट मांग सकते हैं. उन्हें नई तारीख जारी की जा सकती है. बता दें, अनिल अंबानी ग्रुप की कंपनियों ने करीब 12,800 करोड़ रुपये का लोन यस बैंक से लिया था, जोकि एनपीए हो चुका है. इससे पहले, वित्त मंत्री निर्मला सीतरमण ने 6 मार्च को कहा था कि अनिल अंबानी, एस्सेल, आईएलएफएस, डीएचएफएल और वोडाफोन ऐसे कॉरपोरेट हैं, जिन्हें यस बैंक ने लोन दिया है.
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PMLA के तहत दर्ज होगा बयान
अधिकारियों का कहना है कि सभी बड़ी कंपनियों के प्रमोटर्स, जिन्होंने यस बैंक से लोन लिया है और वो एनपीए हो गया है, को आगे जांच में पूछताछ के लिए समन जारी किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि अनिल अंबानी का बयान PMLA के तहत दर्ज किया जाएगा. यस बैंक के फांउडर और पूर्व सीईओ राणा कपूर फिलहाल ईडी की हिरासत में है. उन्हें इस महीने की शुरुआत में गिरफ्तार किया गया था. ईडी ने राणा कंपूर और उनके परिवार व अन्य लोगों को 4300 करोड़ रुपये की लॉन्ड्रिंग करने के आरोप में मामला दर्ज किया है.
18 मार्च को हट जाएगी YES BANK पर लगी रोक
यस बैंक (Yes Bank) पर लगी रोक 18 मार्च को हटा ली जाएगी और सीईओ और MD प्रशांत कुमार की अध्यक्षता वाला नया बोर्ड इस महीने के आखिर तक अपनी जगह लेगा. सरकार ने इसकी जानकारी दी है. सरकार ने बीते शुक्रवार को यस बैंक रीकंस्ट्रक्शन स्कीम 2020 को नोटिफाई किया है.
इस प्लान के अंदर एसबीआई तीन साल की अवधि तक अपनी हिस्सेदारी को 26 फीसदी से कम नहीं कर सकता है. जबकि दूसरे निवेशक और शेयरधारकों का बैंक में 75 फीसदी निवेश के लिए लॉक इन पीरियड तीन साल का रहेगा. हालांकि, यह लॉक इन पीरियड 100 शेयर से कम वाले शेयरधारकों पर लागू नहीं होगा.
(Input: PTI, ANI)