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FPI ने नवंबर में अब तक किया 19,000 करोड़ का निवेश, आगे कैसा रहेगा निवेशकों का रूझान?

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी के विजयकुमार का मानना है कि एफपीआई आने वाले दिनों में भी खरीदारी का सिलसिला जारी रख सकते हैं.

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी के विजयकुमार का मानना है कि एफपीआई आने वाले दिनों में भी खरीदारी का सिलसिला जारी रख सकते हैं.

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FE Hindi Desk
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FPIs invest Rs 19,000 cr

विदेशी निवेशकों ने भारतीय इक्विटी बाजारों में नवंबर महीने में अब तक करीब 19,000 करोड़ रुपये का निवेश किया है.

FPI: विदेशी निवेशकों ने भारतीय इक्विटी बाजारों में नवंबर महीने में अब तक करीब 19,000 करोड़ रुपये का निवेश किया है. इस निवेश के पीछे अमेरिका में इन्फ्लेशन नरम पड़ने और डॉलर की मजबूती कम होने का हाथ रहा है. आंकड़े बताते हैं कि विदेशी निवेशकों ने एक नवंबर से लेकर 11 नवंबर के दौरान कुल 18,979 करोड़ रुपये का निवेश भारतीय इक्विटी बाजारों में किया है. वर्ष 2022 में अब तक विदेशी निवेशकों की भारतीय बाजार से निकासी 1.5 लाख करोड़ रुपये रही है. आइए जानते हैं क्या है एक्सपर्ट्स की राय.

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आने वाले दिनों में कैसा रहेगा रूझान?

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  • जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी के विजयकुमार का मानना है कि एफपीआई आने वाले दिनों में भी खरीदारी का सिलसिला जारी रख सकते हैं.
  • वी के विजयकुमार ने कहा कि अमेरिका में मुद्रास्फीति के आंकड़ों में नरमी का रुख रहने और डॉलर एवं बॉन्ड प्रतिफल घटने से विदेशी निवेशक भारतीय बाजारों के प्रति दिलचस्पी दिखा सकते हैं.
  • कोटक सिक्योरिटीज के इक्विटी शोध (खुदरा) प्रमुख श्रीकांत चौहान ने विदेशी निवेशकों के मौजूदा रुख के लिए मुद्रास्फीति में नरमी, वैश्विक बॉन्ड प्रतिफल कम होने और डॉलर की मजबूती दर्शाने वाले डॉलर सूचकांक में गिरावट को जिम्मेदार बताया.
  • मॉर्निंगस्टार इंडिया के सह निदेशक हिमांशु श्रीवास्तव ने कहा, "हाल के दिनों में इक्विटी बाजारों के तेजी पकड़ने से विदेशी निवेशकों ने भी संभावित रिटर्न की उम्मीद में इसका हिस्सा बनना पसंद किया है." हालांकि विदेशी निवेशकों ने नवंबर में अब तक भारतीय ऋण बाजार से 2,784 करोड़ रुपये की निकासी भी की है.

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पिछले लगातार दो महीनों में हुई थी निकासी

डिपॉजिटरी के आंकड़ों से पता चलता है कि नवंबर में विदेशी निवेशकों के अनुकूल रुख रहने के पहले लगातार दो महीनों तक निकासी का दौर देखा गया था. सितंबर में विदेशी निवेशकों ने भारतीय बाजारों से 7,624 करोड़ रुपये और अक्टूबर में आठ करोड़ रुपये की शुद्ध निकासी की थी. पहले अगस्त में विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने 51,200 करोड़ रुपये और जुलाई में करीब 5,000 करोड़ रुपये की शुद्ध खरीदारी की थी. हालांकि उसके पहले अक्टूबर 2021 से लेकर जून 2022 के दौरान लगातार नौ महीनों तक विदेशी निवेशक शुद्ध बिकवाल बने हुए थे.

(इनपुट-पीटीआई)

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