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जून 2021 के शेयरहोल्डिंग पैटर्न के मुताबिक राकेश झुनझुनवाला और उनकी पत्नी के पास जुबिलैंट फार्मोवा में 6.29 फीसदी हिस्सेदारी थी.
Jhunjhunwala Portfolio: दिग्गज निवेशक राकेश झुनझुनवाला और उनकी पत्नी ने पिछले हफ्ते रेडियोफार्मा मैन्यूफैक्चरर जुबिलैंट फार्मोवा में खुले मार्केट के जरिए हिस्सेदारी खरीदी थी. इसके बाद से पिछले पांच कारोबारी दिनों में इसके शेयर बीएसई पर 5.13 फीसदी मजबूत हो चुके हैं और आज इंट्रा डे में इसके शेयर 2.3 फीसदी मजबूत हुए. राकेश झुनझुनवाला ने 594.35 रुपये प्रति इक्विटी शेयर के भाव से 25 लाख और उनकी पत्नी रेखा झुनझुनवाला ने 20 लाख शेयर खरीदे थे.
वहीं एनएसई पर प्रकाशित बल्क डील्स डेटा के मुताबिक झुनझुनवाला की कंपनी रेयर एंटरप्राइजेज ने इसी भाव पर 40.25 लाख इक्विटी शेयरों की बिक्री की. जून 2021 के शेयरहोल्डिंग पैटर्न के मुताबिक राकेश झुनझुनवाला और उनकी पत्नी के पास इस कंपनी में 6.29 फीसदी हिस्सेदारी थी. एक्सपर्ट का मानना है कि इसमें निवेशक 34 फीसदी तक मुनाफा कमा सकते हैं.
34 फीसदी मुनाफे का गोल्डेन चांस
डोमेस्टिक रिसर्च व ब्रोकरेज फर्म आईसीआईसीआई डायरेक्ट रिसर्च ने इस स्टॉक के लिए 850 रुपये का टारगेट प्राइस सेट किया है यानी कि निवेशकों को 34 फीसदी का मुनाफा हो सकता है. इस समय यह करीब 634 रुपये के भाव पर है. रिसर्च फर्म की जुलाई रिपोर्ट के मुताबिक लाइफ साइंस इनग्रैडिएंट का जुबिलैंट इनग्रेविया में डीमर्जर के बावजूद जुबिलैंट फार्मोवा के शेयर भाव पिछले पांच साल में 2.3x की दर से बढ़े हैं. जून 2016 में इसके भाव 314 रुपये प्रति शेयर थे और जून 2021 में इसके भाव 732 रुपये पर पहुंच गए. ब्रोकरेज फर्म ने रेगुलेटरी कंसर्स के बावजूद इस स्टॉक को 'बाई' की रेटिंग दी हैं. जुबिलेंट फार्मोवा में जुबिलेंट फार्मा, बॉयोसिस और जुबिलेंट लाइफ साइंसेज का थेरेप्यूटिक्स बिजनेस शामिल है.
अगले तीन साल के लिए कंपनी को 3600 करोड़ का ऑर्डर
जुबिलैंट फार्मोवा ने कोविड-ट्रीटमेंट और वैक्सीन को लेकर एक कांट्रैक्ट मैन्यूफैक्चरिंग डील्स किया है जिससे उसके मुनाफे में बढ़ोतरी होगी . इससे पहले पिछली तिमाही में सालाना आधार पर सीडीएमओ (कांट्रैक्ट डेवलपमेंट एंड मैन्यूफैक्चरिंग ऑर्गेनाइजेशन) सेग्मेंट में कंपनी का रेवेन्यू 48 फीसदी बढ़कर 574 करोड़ रुपये हो गया है. हालांकि पिछले वित्त वर्ष में कंपनी का ओवरऑल रेवेन्यू ग्रोथ लगभग फ्लैट रहा. जुबिलेंट फार्मोवा को रेडियोफार्मा सेग्मेंट में सालाना आधार पर रेवेन्यू 23.5 फीसदी कम हुआ था.
कंपनी के मैनेजमेंट के मुताबिक कोरोना महामारी के चलते डायग्नोस्टिक टेस्टिंग में कमी आई जिसके चलते रेवेन्यू में गिरावट आई. हालांकि कंपनी का एलर्जी बिजनेस कोरोना से पहले के स्तर पर पहुंच चुका है. कंपनी का नेट प्रॉफिट 13.7 फीसदी कम होकर 183 करोड़ रुपये रह गया. पिछली तिमाही में कंपनी का प्रदर्शन रेडियोफार्मा सेग्मेंट में गिरावट के चलते प्रभावित हुआ लेकिन मैनेजमेंट को उम्मीद है कि इस वित्त वर्ष 2021-22 में एक नए लांचिंग के चलते इसमें रिकवरी होगी. जुबिलेंट फार्मोवा का कहना है कि सीडीएमओ सेग्मेंट में कंपनी को अगले तीन साल तक के लिए 3600 करोड़ रुपये तक के ऑर्डर मिले हैं.
(आर्टिकल: सुरभि जैन)
(स्टोरी में दिए गए स्टॉक रिकमेंडेशन संबंधित रिसर्च एनालिस्ट व ब्रोकरेज फर्म के हैं. फाइनेंशियल एक्सप्रेस ऑनलाइन इनकी कोई जिम्मेदारी नहीं लेता. पूंजी बाजार में निवेश जोखिमों के अधीन हैं. निवेश से पहले अपने सलाहकार से जरूर परामर्श कर लें.)