/financial-express-hindi/media/post_banners/KWdObYxGaqc2fonEpEIU.jpg)
सेबी चीफ अजय त्यागी
मार्केट रेगुलेटर सेबी ने म्यूचुअल फंड्स से कहा है कि क्रिप्टोकरेंसी के लेकर जब तक नियमन का मुद्दा साफ न हो जाए तब तक वे इसमें निवेश न करें. सेबी के चेयरमैन अजय त्यागी ने बुधवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि मार्केट रेगुलेटर का मानना है कि जब तक इस मामले में सरकार की ओर से कोई नीतिगत स्पष्टता नहीं मिलती तब तक क्रिप्टो एसेट में निवेश करना ठीक नहीं रहेगा.
क्रिप्टोकरेंसी के नियमन का मुद्दा गर्माया
क्रिप्टोकरेंसी में फंड हाउस के निवेश के मामले में सेबी चीफ का बयान ऐसे वक्त में आया है जब सरकार देश में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कानून बनाने पर विचार कर रही है.संसद के शीतकालीन सत्र में इस संबंध में एक बिल लाया जाना चाहिए था लेकिन ऐसा नहीं हो सका. फरवरी में संसद के अगले सत्र में यह बिल लाया जा सकता है. सेबी चीफ ने एक कंपनी की ओर से ब्लॉकचेन म्यूचुअल फंड लॉन्च करने की योजना का भी जिक्र किया है. उन्होंने कहा कि नवंबर में Invesco, CoinShare Global Blockchain ETF fund लॉन्च करने वाली थी लेकिन देश में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कोई स्पष्ट नीति सामने न आने पर इसने यह योजना रोक दी.
'डिजिटल एसेट पर कोई कानून बनने तक क्रिप्टोकरेंसी में निवेश न करें '
उन्होंने कहा कि अगर कोई म्यूचु्अल फंड NFO लॉन्च करने की सलाह मांगता है तो सेबी उसे देश में डिजिटल एसेट पर कोई कानून बनने तक क्रिप्टोकरेंसी में निवेश न करने की सलाह देगा. क्रिप्टोकरेंसी में सेबी की ओर से इस बयान के बीच आरबीआई की डिजिटल करेंसी ( Central Bank Digital Currency ) पर चर्चा चल रही है. आरबीआई ने मंगलवार को देश के बैंकिंग सेक्टर पर अपनी रिपोर्ट में कहा कि क्रिप्टोकरेंसी का मैक्रोइकोनॉमिक पॉलिसी पर काफी असर पड़ सकता है. लिहाजा पहले इसके बेसिक मॉडल को अपना जरूरी होगा. इसके बाद इसका व्यापक परीक्षण किया जाना चाहिए ताकि मौद्रिक नीति और बैंकिग सिस्टम पर इसका कम से कम असर पड़े.