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Yatra Online Listing: यात्रा ऑनलाइन लिमिटेड का शेयर आज बीएसई पर 130 रुपये पर लिस्ट हुआ. (reuters)
Yatra Online Listing Today: ऑनलाइन ट्रैवल कंपनी यात्रा ऑनलाइन लिमिटेड (Yatra Online IPO) के शेयरों की आज स्टॉक मार्केट में कमजोर लिस्टिंग हो गई है. कंपनी का शेयर आज बीएसई पर 130 रुपये पर लिस्ट हुआ, जबकि इश्यू प्राइस रुपये 142 रुपये था. इस लिहाज से लिस्टिंग 9 फीसदी निगेटिव प्रीमियम पर हुई है. निवेशकों को हर शेयर पर 12 रुपये का नुकसान हुआ है. आईपीओ का साइज 776 करोड़ रुपये था, जबकि प्राइस बैंड 135 रुपये से 142 रुपये था. इस इश्यू को निवेशकों की ओर से भी कोई खास रिस्पांस नहीं मिला था, वहीं ग्रे मार्केट में भी कोई हलचल नहीं थी. अब सवाल उठता है कि लिस्टिंग के बाद शेयर बेच दें या घाटे की भरपाई के लिए इसमें बने रहें.
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निवेशकों का मिला था ठंडा रिस्पांस
Yatra Online के IPO को निवेशकों की ओर से ठंडा रिस्पांस मिला था. कंपनी ने इस इश्यू के तहत 75 फीसदी शेयर क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स के लिए रिजर्व रखा था और यह 2.10 गुना भरा. आईपीओ में 15 फीसदी शेयर नॉन-इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स के लिए रिजर्व था और यह हिस्सा 0.43 गुना ही भर पाया. जबकि 10 फीसदी शेयर रिटेल इन्वेस्टर्स के लिए रिजर्व था और यह हिस्सा कुल 2.19गुना भरा था. ओवरआल इसे 1.66 गुना सब्सक्रिप्शन मिला था. यात्रा ऑनलाइन भारत का सबसे बड़ा कॉरपोरेट ट्रेवल सर्विस प्रोवाइडर है. कंपनी कॉरपोरेट क्लाइंट्स के साथ-साथ डायरेक्ट कंज्यूमर्स को इंटीग्रेटेड ट्रेवल सॉल्यूशन उपलब्ध कराती है.
निवेशकों को क्या करना चाहिए
यात्रा ऑनलाइन लिमिटेड (YOL) ने आज शेयर बाजारों में बीएसई पर 130 रुपये और एनएसई पर 127.5 रुपये प्रति शेयर पर अपनी शुरुआत की, जो इसके IPO प्राइस 142 रुपये से 10% से अधिक का डिस्काउंट है. YOL के शेयरों में निगेटिव लिस्टिंग देखी गई. ऐसा कंपनी के हाई पी/ई वैल्युएशन, एयरलाइन टिकटिंग बिजनेस पर उसकी निर्भरता और ट्रैवल इंडस्ट्री की प्रतिस्पर्धी प्रकृति के कारण है. कुल मिलाकर, YOL एक जोखिम भरा निवेश है, और जिन निवेशकों को इस IPO का आवंटन मिला है, उन्हें अपनी पोजिशन से बाहर निकलने पर विचार करना चाहिए.
क्या हैं रिस्क फैक्टर
ब्रोकरेज हाउस एसएमसी ग्लोबल के अनुसार कंपनी अपने एयरलाइन टिकटिंग व्यवसाय पर बहुत ज्यादा निर्भर है, जो इसके रेवेन्यू का महत्वपूर्ण पार्ट है और भारत में कम संख्या में एयरलाइन सप्लायर्स से प्राप्त होता है. यात्रियों की प्राथमिकताओं में बदलाव ट्रैवल सर्विसेज और अकोमोडेशन की मांग को प्रभावित कर सकता है. कंपनी बी2बी बिजनेस से एडजस्टेड मार्जिन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा प्राप्त करती है, जिसका वित्त वर्ष 2023 में कुल एडजस्टेड मार्जिन का 28.25% योगदान रहा है.
इंडस्ट्री आउटलुक
भारतीय ट्रैवल इंडस्ट्री के 9-11% सीएजीआर से बढ़ने की उम्मीद है, जो वित्त वर्ष 2023 में 282500-284500 करोड़ रुपये से बढ़कर वित्त वर्ष 2028 तक 454000-456000 करोड़ रुपये हो जाएगा. ऐसा पर्यटन बुनियादी ढांचे के विकास, आय के बढ़ते स्तर और ट्रैवल और टूरिज्म पर हायर स्पेंडिंग के चलते संभव है. इंडस्ट्री के भीतर ऑनलाइन पेनिट्रेशन 73-75 फीसदी तक पहुंचने की उम्मीद है। परिणामस्वरूप, भारत में ऑनलाइन ट्रैवल मार्केट वित्त वर्ष 2028 में 333500–335500 करोड़ रुपये तक बढ़ने का अनुमान है, जो वित्त वर्ष 2023 में 190000–192000 करोड़ रुपये. यानी इसमें 11.5-12.5% सीएजीआर ग्रोथ संभव है.
(Disclaimer: स्टॉक पर सलाह एक्सपर्ट और ब्रोकरेज हाउस के द्वारा दी गई है. यह फाइनेंशियल एक्सप्रेस के निजी विचार नहीं हैं. बाजार में जोखिम होते हैं, इसलिए निवेश के पहले एक्सपर्ट की राय लें.)