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RIL, ONGC को बड़ी राहत, सरकार ने Crude प्रोडक्शन और फ्यूल एक्सपोर्ट पर घटाया टैक्स, गैसोलीन पर लेवी खत्म

भारत सरकार ने गैसोलीन निर्यात पर एक लेवी को खत्म कर दिया है. वहीं 3 हफ्ते से भी कम समय में दूसरे ईंधन पर विंडफाल टैक्स में कटौती की है.

भारत सरकार ने गैसोलीन निर्यात पर एक लेवी को खत्म कर दिया है. वहीं 3 हफ्ते से भी कम समय में दूसरे ईंधन पर विंडफाल टैक्स में कटौती की है.

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FE Hindi Desk
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RIL, ONGC को बड़ी राहत, सरकार ने Crude प्रोडक्शन और फ्यूल एक्सपोर्ट पर घटाया टैक्स, गैसोलीन पर लेवी खत्म

RIL और ONGC जैसी कंपनियों के लिए सरकार की ओर से राहत की खबर आई है. (File)

Tax Cut on Fuel Export: RIL और ONGC जैसी कंपनियों के लिए राहत की खबर है. ब्लूमबर्ग के मुताबिक भारत सरकार ने गैसोलीन निर्यात पर एक लेवी को खत्म कर दिया है. वहीं 3 हफ्ते से भी कम समय में दूसरे ईंधन पर विंडफाल टैक्स में कटौती की है. सरकार के इस फैसले से देश के नंबर 1 फ्यूल एक्सपोर्टर कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (RIL) और क्रूड एक्सप्लोर करने वाली देश की टॉप कंपनी ONGC को बहुत बड़ी राहत मिलेगी. गवर्नमेंट नोटिफिकेशन के मुताबिक केंद्र ने डीजल और एविएशन फ्यूल शिपमेंट पर लागू विंडफाल टैक्स में 2 रुपये प्रति लीटर की कमी की है.

क्रूड प्रोडक्शन पर टैक्स घटा

गवर्नमेंट नोटिफिकेशन के अनुसार गैसोलीन निर्यात पर 6 रुपये प्रति लीटर की लेवी को पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है. इसके साथ ही घरेलू स्तर पर उत्पादन होने वाले क्रूड पर लागू टैक्स में करीब 27 फीसदी कटौती कर इसे 17000 रुपये प्रति टन कर दिया गया है. बता दें कि ऐसी खबरें पहले से चल रही थी कि सरकार विंडफाल टैक्स में कटौती कर सकती है, क्योंकि इससे फ्यूल एक्सपोर्टर और क्रूड एक्सप्लोर करने वाली कंपनियों को भारी घाटा हो रहा है.

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टैक्स लगाने के पीछे क्या था मकसद

भारत सरकार ने 1 जुलाई को इन टैक्सेज को लगाया था. केंद्र सरकार ने पेट्रोल-डीजल और ATF के एक्सपोर्ट पर एक्साइज ड्यूटी बढ़ा दी थी. पेट्रोल पर 5 रुपए प्रति लीटर तो वहीं डीजल पर 12 रुपये प्रति लीटर तक एक्सपोर्ट ड्यूटी बढ़ाई गई. ATF के एक्सपोर्ट पर 6 रुपए प्रति लीटर सेंट्रल एक्साइज ड्यूटी बढ़ाई गई.. एक्सपोर्ट ड्यूटी बढ़ाने के पीछे सरकार का मकसद घरेलू बाजार में पेट्रोल-डीजल और ATF जैसे फ्यूल की उपलब्धता बढ़ाना था. लेकिन उसके बाद से फ्यूल की कीमतों में ग्लोबल स्तर पर गिरावट आई है, जिससे क्रूड उत्पादकों और रिफाइनरी कंपनियां दोनों को नुकसान हो रहा था.

(Input: Bloomberg)

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