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देश में जीएसटी कलेक्शन नवंबर महीने में सालाना आधार पर 11 फीसदी बढ़कर करीब 1.46 लाख करोड़ रुपये रहा.
GST collections: देश में जीएसटी कलेक्शन नवंबर महीने में सालाना आधार पर 11 फीसदी बढ़कर करीब 1.46 लाख करोड़ रुपये रहा. वित्त मंत्रालय ने गुरुवार को एक बयान में यह जानकारी दी. मुख्य रूप से कंज्यूमर स्पेंडिंग और बेहतर अनुपालन से जीएसटी राजस्व बढ़ा है. यह लगातार नौवां महीना है जब गुड्स एंड सर्विस टैक्स (जीएसटी) कलेक्शन 1.40 लाख करोड़ रुपये से अधिक रहा है. हालांकि नवंबर में जीएसटी कलेक्शन अगस्त के बाद से सबसे कम रहा है. इससे पहले, अक्टूबर में जीएसटी कलेक्शन त्याहरों में खर्च बढ़ने से 1.52 लाख करोड़ रुपये रहा जो दूसरा सर्वाधिक मासिक राजस्व है.
11 फीसदी बढ़ा कलेक्शन
वित्त मंत्रालय के बयान के अनुसार सकल जीएसटी राजस्व संग्रह नवंबर महीने में 1,45,867 करोड़ रुपये रहा. इसमें केंद्रीय जीएसटी 25,681 करोड़ रुपये, राज्य जीएसटी 32,651 करोड़ रुपये, एकीकृत जीएसटी 77,103 करोड़ रुपये (आयातित वस्तुओं पर प्राप्त 38,635 करोड़ रुपये समेत) और उपकर 10,433 करोड़ रुपये रहा. इसमें आयातित वस्तुओं से उपकर के रूप में मिले 817 करोड़ रुपये भी शामिल हैं. बयान के अनुसार, ‘‘इस साल नवंबर महीने में जीएसटी राजस्व पिछले साल के समान महीने के मुकाबले 11 प्रतिशत अधिक रहा. नवंबर 2022 में यह 1,31,526 करोड़ रुपये था.’’
कलेक्शन बढ़ने की क्या है वजह
केपीएमजी के पार्टनर (अप्रत्यक्ष कर) अभिषेक जैन ने कहा कि जीएसटी संग्रह बढ़ने में त्योहारी खरीद जारी रहने और साल के अंत में इनपुट टैक्स क्रेडिट का मिलान आदि की महत्वपूर्ण भूमिका रही. एनए शाह एसोसिएट्स में पार्टनर (अप्रत्यक्ष कर) पराग मेहता ने कहा कि जीएसटी संग्रह बढ़ने का प्रमुख कारण त्योहार और शादियों का मौसम है. मेहता ने कहा, ‘‘रियल एस्टेट और वाहन बाजारों में बिक्री बढ़ी है. कुल मिलाकर उपभोक्ता खर्च बढ़ा है. इसके अलावा टैक्स ऑफिसर कर चोरी करने वालों के खिलाफ कार्रवाई भी कर रहे हैं.’’ इस महीने के दौरान आयातित वस्तुओं के आयात से राजस्व 20 प्रतिशत अधिक रहा. वहीं घरेलू लेन-देन (सेवाओं के आयात समेत) से राजस्व सालाना आधार पर आठ प्रतिशत अधिक रहा. जीएसटी राजस्व अप्रैल महीने में रिकॉर्ड 1.68 लाख करोड़ रुपये के उच्च स्तर पर पहुंच गया था. मई में यह 1.41 लाख करोड़ रुपये, जून में 1.45 लाख करोड़ रुपये, अगस्त में 1.44 लाख करोड़ रुपये, सितंबर में 1.48 लाख करोड़ रुपये और अक्टूबर में 1.52 लाख करोड़ रुपये रहा था.
(इनपुट-पीटीआई)