/financial-express-hindi/media/post_banners/cG8GPRoFX0WPTKjbdbOT.jpg)
शरीर के ओवर-हीटिंग को हिट या सनस्ट्रोक कहा जाता है. हीट स्ट्रोक को एक मेडिकल इमरजेंसी माना जाता है, जिस पर तुरंत ध्यान देने की आवश्यकता होती है.
How to save yourself from Heat Stroke: देश में गर्मी का प्रकोप अभी से प्रचंड होता जा रहा है. भारत के कई हिस्सों में तापमान 44 डिग्री तक पहुंच गया है. इस बीच भारी गर्मी से कई लोग दम भी तोड़ रहे हैं. रविवार यानी 16 अप्रैल को नवी मुंबई के खारघर में आयोजित एक सार्वजनिक सभा में भाग लेने के बाद हीटस्ट्रोक (Heat Stroke) के कारण करीब 13 लोगों की मौत हो गई. वहीं, 20 लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जिनमें से तीन गंभीर रूप से बीमार हैं. दर्जनों अन्य गर्मी में खड़े होने के दौरान डिहाइड्रेशन के शिकार हो गए.
एलन मस्क TruthGPT करेंगे लॉन्च, ChatGTP पर लगाया यह बड़ा आरोप
हीट स्ट्रोक के दौरान शरीर का क्या होता है?
शरीर के ओवर-हीटिंग को हिट या सनस्ट्रोक कहा जाता है. हीट स्ट्रोक को एक मेडिकल इमरजेंसी माना जाता है, जिस पर तुरंत ध्यान देने की आवश्यकता होती है. डाक्टरों के अनुसार जब शरीर से पसीना निकलना बंद होता है तो शरीर में हीट बढ़ने लगता है. पसीना निकलने से शरीर से हीट वाष्प के रूप में बाहर निकल जाता है और शरीर ठंढा रहता है. अगर शरीर ठंडा होने में विफल रहता है, तो इसका कोर तापमान कुछ ही मिनटों में 106 डिग्री फ़ारेनहाइट तक बढ़ सकता है. इस स्थिति में सही से इलाज न किये जाने पर लोगों की मौतें भी हो जाती हैं. गर्मी की थकावट से पीड़ित व्यक्ति थकान, चक्कर आना, सिरदर्द, मतली, उल्टी, हाइपोटेंशनऔर टैचीकार्डिया का अनुभव करते हैं.
अगर आपको गर्मी में बाहर जाना पड़े तो क्या करें और क्या न करें?
- जितना हो सके उतना हाइड्रेटेड रहें. जितनी बार हो सके पानी पिएं, भले ही प्यास न लगी हो. हमेशा अपने साथ पानी लेकर चलें.
- अपने आप को अच्छे से ढक लें. हल्के रंग के, ढीले और झरझरा सूती कपड़े पहनें.
- धूप के चश्मे, छाता या टोपी का प्रयोग करें.
- सूर्य के नीचे खड़े रहने से बचें.