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CCI on Google : कॉम्पिटीशन कमीशन ऑफ इंडिया (CCI) ने गूगल पर 1337.76 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है. गुरूवार को कॉम्पिटीशन कमीशन ने देश में एंड्रायड मोबाइल डिवाइस इकोसिस्टम से जुड़े तमाम कैटेगरी में दुरुपयोग करने के लिए गूगल पर यह कार्रवाई की है. CCI ने जानकारी दी है कि अमेरिका की दिग्गज टेक गूगल ने बड़े पैमाने पर अपनी तकनीक का दुरुपयोग किया है. जनरल वेब सर्च सर्विस, नॉन-ओएस स्पेसिफिक मोबाइल वेब ब्राउजर और ऑनलाइन वीडियो होस्टिंग प्लेटफार्म, ऐप स्टोर मार्केट और स्मार्टफोन डिवाइस जिस पर काम करता है उस ऑपरेटिंग सिस्टम (OS) के लाइसेंस से जुड़े मामलों में गूगल ने अपने प्रभुत्व का गलत इस्तेमाल किया है.
CCI ने जारी किए हैं निर्देश
CCI ने निर्देश दिया है कि निश्चित समय सीमा के भीतर गूगल अपने रवैए में सुधार करें. एंटीट्रस्ट रेगुलेटर ने बताया कि कमीशन के सामने गूगल ने जो रेवेन्यू डाटा दी उसमें ढेर सारी गड़बड़िया पाई गई हैं. कमीशन ने गूगल को 30 दिन की मोहतल दी है. इस समय सीमा के भीतर फाइनेंशियल डिटेल और डाक्यूमेंट पेश करने को कहा है. कमीशन ने गूगल से जिन डिटेल की मांग की है उसकी जांच के बाद जुर्माने की रकम बढ़ाई भी जा सकती है.
रेगुलेटर ने अप्रैल 2019 में दिए थे जांच के आदेश
अप्रैल 2019 में, रेगुलेटर ने देश में एंड्रॉइड-बेस्ड स्मार्टफोन के कंज्यूमर्स की शिकायतों के बाद मामले में विस्तृत जांच का आदेश दिया था. एंड्रॉइड एक ओपन-सोर्स, मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है जो स्मार्टफोन और टैबलेट के ओरीजनल इक्वीपमेंट मैन्युफैक्चरर्स (Original Equipment Manufacturers-OEMs) द्वारा इनस्टाल किया जाता है. कंपटीशन कमीशन के मुताबिक गूगल एंड्रॉयड ऑपरेटिंग सिस्टम (Android OS) के साथ-साथ अन्य लाइसेंसों को मैनेज करता है. इसे हासिल करने के बाद एंड्रॉयड डिवाइस पर सर्च ऐप्स (Search apps), विजेट (Widget) और क्रोम ब्राउज़र (Chrome browser) जैसे कई प्रमुख सर्च एंट्री प्वाइंट्स को प्री-इनस्टाल करने का लाभ मिलता है.