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India's exports to EU member countries stood at about USD 54 billion in 2019-20, while imports aggregated at USD 52 billion.
लगातार तीसरे महीने बढ़ते हुए, देश का निर्यात सालाना आधार पर 0.67 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ फरवरी में 27.93 अरब डॉलर पर पहुंच गया है. सोमवार को जारी आधिकारिक डेटा के मुताबिक, व्यापार घाटा बढ़कर 12.62 अरब डॉलर हो गया. डेटा में सामने आया कि आयात महीने में 6.96 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ 40.54 अरब डॉलर पर पहुंच गया है. व्यापार घाटा फरवरी 2020 में 10.16 अरब डॉलर पर था.
तेल का आयात गिरा
अप्रैल-फरवरी 2020-21 की अवधि के दौरान निर्यात 12.23 फीसदी की गिरावट के साथ 256.18 अरब डॉलर पर पहुंच गया. एक साल पहले की अवधि में यह 291.87 अरब डॉलर था. आयात अप्रैल-फरवरी में 23.11 फीसदी घटकर 340.8 अरब डॉलर रहा है.
फरवरी में, तेल का आयात 16.63 फीसदी गिरकर 8.99 अरब डॉलर पर आ गया. जबकि अप्रैल-फरवरी के दौरान शिपमेंट 40.18 फीसदी की गिरावट के साथ 72.08 अरब डॉलर पर आ गया. फरवरी में सोने का आयात उछाल के साथ 5.3 अरब डॉलर पर आ गया, जो एक साल पहले के महीने में 2.36 अरब डॉलर आ गया.
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इन क्षेत्रों में सकारात्मक ग्रोथ
जिन क्षेत्रों में फरवरी के दौरान सकारात्मक निर्यात रहा है, उनमें ऑयलमील, आयरन ऑर, चावल (30.78 फीसदी), कार्पेट (19.46 फीसदी), मसाले (18.61 फीसदी), फार्मास्युटिकल्स (14.74 फीसदी), तंबाकू (7.71 फीसदी) और कैमिकल्स (1.2 फीसदी) शामिल हैं. जिन सेक्टर्स में नकारात्मक ग्रोथ रही है, उनमें ऑयलसीड, लेदर, पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स, काजू, जेम्स और ज्वैलरी, रेडी मेड कपड़े, चाय, इंजीनियरिंग गुड्स, कॉफी और मराइन प्रोडक्ट्स शामिल हैं.
डेटा पर बोलते हुए, फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गनाइजेशन (FIEO) प्रेसिडेंट शरद कुमार सरफ ने बताया कि निर्यात में थोड़ी ग्रोथ देशभर में कंटेनर कमी की वजह से है, जिसने पिछले हफ्ते कुछ राज्यों में बढ़ते कोरोना के मामलों की वजह से सप्लाई को सीमित कर दिया. चीन से बढ़ते निर्यात ने क्षेत्र में कंटेनर की कमी की क्योंकि ज्यादातक खाली कंटेनर केवल चीन से निर्यात के लिए उपलब्ध थे. उन्होंने कहा कि शिपिंग लाइन्स और कंटेनर कंपनियों को चीन से खाली कंटेनर्स को लाने के लिए भारी प्रीमियम का भुगतान किया जा रहा है.