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भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की तरफ से 1.76 लाख करोड़ रुपये का सरप्लस केंद्र सरकार को ट्रांसफर करने के फैसले पर पक्ष-विपक्ष की तरफ से आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है. इस बीच, वित्त मंत्री निर्मला सीतामरण में मंगलवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी के आरोपों पर पलटवार किया. वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि कांग्रेस की तरफ से आरबीआई के फैसले पर सवाल खड़े करना दुर्भाग्यपूर्ण है. वहीं, वित्त मंत्री ने इस पर अभी कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया कि आरबीआई के पैसों का सरकार क्या इस्तेमाल करेगी. वहीं, उन्होंने ट्रेडर्स से कहा कि वे बिना किसी चिंता के अपना काम करें.
सीतारमण ने कहा कि आरबीआई सरप्लस पर राजनीति नहीं होनी चाहिए. जालान कमिटी का गठन सरकार ने नहीं आरबीआई ने किया था. आरबीआई की विश्वसनीयत पर सवाला उठाना सही नहीं है.
RBI को दागदार न बनाए कांग्रेस
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि कांग्रेस आरबीआई की छवि को दागदार न बनाए. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी को आरोप लगाने से पहले अपने समय के वित्त मंत्रियों से बात कर लेनी चाहिए थी. वित्त मंत्री ने कहा कि कांग्रेस नेता ने अतीत में "चोर, चोर, चोरी" जैसे शब्दों का इस्तेमाल करके कीचड़ फेंकने की बहुत कोशिश की.
सीतारमण ने कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के ट्वीट पर जवाब देते हुए कहा कि जब भी राहुल चोरी-चोरी की बात करते हैं तो मेरे दिमाग में एक ही बात आती है. उन्होंने चुनाव में चोरी, चोरी की बहुत बात की थी, लेकिन जनता ने उनको जवाब दे दिया. अब उसी शब्द का फिर इस्तेमाल करने का क्या फायदा.
बता दें कि कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण पर 'आर्थिक त्रासदी' को लेकर बेखबर रहने का आरोप लगाया था.
बिना चिंता के काम करें व्यापारी वर्ग
निर्मला सीतारमण में पुणे में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि व्यापारी वर्ग बिना किसी चिंता के काम करें. जीएसटी रेट को लेकर उनकी मांग है. निर्मला ने कहा कि जीएसटी घटाना उनके हाथ में नहीं है. जीएसटी पर फैसला जीएसटी काउंसिल करेगी. उन्होंने कहा कि सरकार छोटे कारोबारियों की चिंताओं को लेकर गंभीर है.
आरबीआई सरकार को देगी 1.76 लाख करोड़
आरबीआई ने केंद्र सरकार को 1.76 लाख करोड़ रुपये देने का फैसला लिया है. रिजर्व बैंक के सेंट्रल बोर्ड ने बिमल जालान कमिटी की सिफारिशें मंजूर कर ली. सोमवार को हुई बैठक के बाद आरबीआई ने कहा कि बोर्ड ने मोदी सरकार को 1,76,051 करोड़ रुपये ट्रांसफर करने का फैसला किया है, जिसमें से 1,23,414 करोड़ रुपये की सरप्लस राशि 2018-19 के लिए होगी. इसके अलावा संशोधित आर्थिक पूंजी ढांचे के अनुसार अतिरिक्त प्रावधानों के तहत 52,637 करोड़ रुपये दिए जाएंगे.