/financial-express-hindi/media/post_banners/6SPJqlVRhvEYEBt1TVSl.jpg)
Go First: वाडिया ग्रुप के स्वामित्व वाली एयरलाइंस गो फर्स्ट कैश के गंभीर संकट से गुजर रही है.
Go First Files For Insolvency: वाडिया ग्रुप के स्वामित्व वाली एयरलाइंस गो फर्स्ट (Go First) कैश के गंभीर संकट से गुजर रही है. Go First एयरलाइंस ने 3-4 मई के बाद अब 5 मई के लिए अपनी सभी उड़ानों को रद्द कर दिया है. इसके साथ ही एयरलाइन ने राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) की दिल्ली पीठ में स्वैच्छिक दिवाला समाधान प्रक्रिया के लिए भी आवेदन किया है. गो फर्स्ट को नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) ने पहले से ही कारण बताओ नोटिस जारी किया हुआ है. गो फर्स्ट दिवालिया हो चुकी है और कंपनी के बोर्ड ने इसके समाधान की प्रक्रिया शुरू करने की अनुमति दे दी है. डीजीसीए द्वारा भेजे गए कारण बताओ नोटिस के अनुसार, कंपनी ने बगैर कोई सूचना दिए ही 3-4 तारीख की उड़ानों को रद्द कर दिया है.
एयरलाइंस के प्रमुख कौशिक खोना के अनुसार Go First एयरलाइंस को प्रैट एंड व्हिटनी (पीएंडडब्ल्यू) से इंजन की आपूर्ति नहीं मिलने की वजह से अपने बेड़े के आधे से अधिक यानी 28 विमानों को खड़ा करना पड़ा है. इस वजह से एयरलाइन के समक्ष कैश का संकट पैदा हो गया है. उन्होंने कहा कि दिवाला समाधान के लिए आवेदन करना एक दुर्भाग्यपूर्ण निर्णय है लेकिन कंपनी के हितों के संरक्षण के लिए ऐसा करना जरूरी था. एयरलाइंस ने सरकार को भी इन घटनाक्रमों की जानकारी दे दी है. साथ ही वह नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) को इस बारे में विस्तृत रिपोर्ट सौंपने जा रही है.
Online Fraud: 3 साल में 39% भारतीय परिवारों के साथ हुआ फ्रॉड, ऑनलाइन पैसों की हुई ठगी
Go First क्यों हुआ दिवालिया
कंपनी ने एनसीएलटी (NCLT) में वॉलंटरी इनसॉल्वेंसी प्रॉसीडिंग के लिए आवेदन किया है. कंपनी ने कहा है कि उसके पास तेल कंपनियों का बकाया चुकाने तक का पैसा नहीं है. कैश क्राइसिस से जूझ रही एयरलाइंस ने अमेरिकी इंजन कंपनी को इसके लिए दोषी बताया है. Go First ने कहा कि उन्हें अमेरिकी फर्म प्रैट एंड व्हिटनी से ऑर्डर के मुताबिक इंजन नहीं मिले, जिसके चलते उनके बेड़े के 50 फीसदी विमानों का परिचालन ठप रहा. फिलहाल कंपनी ने इंजनों की आपूर्ति में रुकावट को इसका कारण बताया है.
Go First ने कहा कि इंजन कंपनी पीएंडडब्ल्यू को 27 अप्रैल, 2023 तक कम से कम 10 स्पेयर लीज्ड इंजन और 10 और इंजन देने को कहा गया, लेकिन पीएंडडब्ल्यू ने इसका पालन नहीं किया. वहीं कंपनी की ओर से भेजे जा रहे इंजनों के फेल होने की संख्या बढ़ती रही है.कंपनी ने कहा कि विमानों का परिचालन ठप पड़ने से उनकी कमाई पर भी असर हुआ है.
किन नियमों का उल्लंघन
DGCA ने नोटिस में कहा था कि Go First ने अपनी उड़ानों को रद्द करने का कोई वाजिब कारण नहीं बताया था. कंपनी ने अपनी उड़ानों को रद्द करने से पहले जरूरी अनुमतियां नहीं ली और वह नियमों को पालन करने में फेल रही है. इस कारण कंपनी ने नागरिक उड्डयन नियमों से जुड़े सेक्शन 3, सीरीज एम और भाग 4 का स्पष्ट रूप से उल्लंघन किया है.
5,000 से अधिक हैं कर्मचारी
कंपनी ने नोटिस में कहा कि एयरलाइन की उड़ानें 3, 4 और 5 मई को निलंबित रहेंगी. उसके बाद उड़ानों का परिचालन फिर शुरू होगा. Go First के कर्मचारियों की संख्या 5,000 से अधिक है. गो फर्स्ट ने यह भी कहा कि वह यात्रियों को उनके टिकट का पूरा पैसा वापस करेगी. कंपनी ने कहा कि हमें इस बात का अफसोस है कि परिचालन संबंधी कारणों से Go First की उड़ानें 3 दिन तक निलंबित रहेंगी. उड़ानों के कैंसल होने से यात्रियों को जो असुविधा हुई हैं, हम उसके लिये माफी मांगते हैं. हम जो भी सहायता दे सकते हैं, वह देंगे और उसके लिये पूरी तरह से प्रतिबद्ध हैं.