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India@75: भारतीय आजादी के 75वें वर्ष में 'आजादी का अमृत महोत्सव' मनाया जा रहा है.
India@75: भारतीय आजादी के 75वें वर्ष में 'आजादी का अमृत महोत्सव' मनाया जा रहा है. पीएम मोदी की अपील पर इसके तहत 'हर घर तिरंगा' (Har Ghar Tiranga) अभियान कल यानी 13 अगस्त से शुरू हो चुका है. इसे लेकर देशवासी कितने उत्साहित हैं, इसका अंदाजा 12 अगस्त को डाक विभाग के इस खुलासे से लगा सकते हैं कि बिक्री शुरू होने के महज 10 दिनों के भीतर उसने एक करोड़ से अधिक तिरंगा की बिक्री की. इसके अलावा गांवों से लेकर शहरों तक के दुकानदारों ने भी अधिक बिक्री की बात कही है. सभी देशवासी 'हर घर तिरंगा' कैंपेन का हिस्सा बन रहे हैं लेकिन उनमें से अधिकतर को इसे फहराने या लगाने को लेकर नियमों के बारे में जानकारी नहीं है. ऐसे में फ्लैग कोड ऑफ इंडिया, 2022 और प्रिवेंशन ऑफ इंसल्ट्स टू नेशनस ऑनर एक्ट, 1971 में दिए गए प्रावधानों को जरूर समझ लें.
किसे तिरंगा फहराने की मंजूरी और किस दिन के लिए?
26 जनवरी 2002 को प्रभावी हुए फ्लैग कोड ऑफ इंडिया के पैगाग्राफ 2.2 के मुताबिक कोई भी शख्स, संस्था, शैक्षिणिक संस्थान (स्काउट कैंप समेत) और निजी व सरकारी संस्थान तिरंगा झंडा को सम्मान के साथ किसी भी दिन या किसी भी अवसर पर फहरा सकते हैं.
तिरंगा झंडा कैसे चुनें?
तिरंगा किसी भी आकार का हो सकता है यानी कितना भी छोटा या बड़ा लेकिन हर केस में इसकी लंबाई और चौड़ाई का अनुपात 3:2 होना चाहिए.
तिरंगा से ऊपर कुछ नहीं रख सकते
जहां आप तिरंगा फहरा रहे हैं, वहां यह सबसे ऊपर होना चाहिए यानी कि इसके साथ कोई और झंडा इससे ऊंचा नहीं होना चाहिए. इसके अलावा तिरंगा के आस-पास किसी भी चीज का विज्ञापन नहीं होना चाहिए.
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तिरंगा को नहीं पहन सकते
राष्ट्रीय झंडा तिरंगा को कपड़े या यूनिफॉर्म के रूप में नहीं पहन सकते हैं. इसे कमर से नीचे किसी एक्सेसरी के तौर पर नहीं इस्तेमाल कर सकते हैं. इसके अलावा किसी गद्दे, रूमाल, नैपकिन, अंडरगारमेंट या किसी अन्य ड्रेस मैटेरियल की डिजाइन तिरंगा नहीं हो सकती है.
गाड़ियों पर लगाने का क्या है नियम?
राष्ट्रीय झंडा तिरंगा को सभी लोग अपनी गाड़ी पर नहीं लगा सकते हैं. इसे सिर्फ राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल और अन्य उच्च पदाधिकारी की गाड़ियों पर ही लगाया जा सकता है. इसके अलावा इसका इस्तेमाल किसी गाड़ी के साइड, बैक और टॉप को कवर करने के लिए भी नहीं किया जा सकता है.
स्वतंत्रता दिवस के बाद तिरंगा का क्या करें?
15 अगस्त के जश्न के बाद तिरंगा को इस प्रकार न रखें कि यह गंदा हो जाए या इसे नुकसान पहुंचे. अगर किसी भी परिस्थिति में यह क्षतिग्रस्त हो गया है तो फ्लैग कोड के निर्देशों के मुताबिक इसे एकांत में जलाकर पूरी तरह नष्ट किया जाना चाहिए या किसी भी तरीके से पूरी गरिमा के साथ इसे नष्ट किया जाना चाहिए. कागज के तिरंगा झंडा को 15 अगस्त के समारोह के बाद जमीन पर नहीं फेंकना चाहिए. फ्लैग कोड के मुताबिक देश का राष्ट्रीय झंडा का संपर्क किसी भी हालत में जमीन या पानी से नहीं होना चाहिए.
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तिरंगा के अपमान पर सजा का क्या है प्रावधान?
प्रिवेंशन ऑफ इंसल्ट्स टू नेशनल ऑनर एक्ट, 1971 के सेक्शन 2 के मुताबिक तिरंगा झंडा का अनादर करने पर चाहे या मौखिक रूप में हो या लिखित रूप में या किसी कार्यवाही के जरिए, तीन साल तक की सजा या जुर्माना या दोनों हो सकता है.
(Input: Indian Express)