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Lithium Mines in India : जम्मू-कश्मीर में मिले लीथियम भंडार के क्या है मायने, अब चीन से घटेगी निर्भरता!

Lithium in Jammu and Kashmir: जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में जिस जगह पर लीथियम भंडार मिला है वहां पर साल 2021-22 से सर्वे का काम चल रहा है.

Lithium in Jammu and Kashmir: जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में जिस जगह पर लीथियम भंडार मिला है वहां पर साल 2021-22 से सर्वे का काम चल रहा है.

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FE Hindi Desk
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जम्मू कश्मीर के संबंधित भंडार में लीथियम मेटल के अलावा एल्युमीनियम अयस्क बॉक्साइट और सीरियम, कैल्शिमय जैसे तमाम रेयर अर्थ एलिमेंट भी होने का अनुमान है. (Source: Twitter/@ANI)

Lithium Reserves in India: जियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया (GSI) को केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर (Jammu and Kashmir) के रियासी जिले (Reasi District) के सलाल-हैमाना (Salal-Haimana) इलाके में करीब 59 लाख टन लीथियम का भंडार (अनुमानित एमाउंट में खनिज) मिला है. सर्वे के दौरान GSI की ओर से इस लीथियम भंडार को "रियासी सेरसंडू-खेरीकोट-रहोटकोट-दरबी" (Reasi Sersandu-Kherikot-Rahotkot-Darabi) मिनरल ब्लॉक के तौर पर स्थापित किया गया है. जम्मू -कश्मीर के रियासी जिले में जिस जगह पर लीथियम भंडार मिला है वहां पर साल 2021-22 से सर्वे का काम चल रहा है.

देश में पहली बार मिला लीथियम भंडार

लीथियम का इस्तेमाल इलेक्ट्रिक व्हीकल और मोबाइल फोन की बैटरी बनाने में किया जाता है. इस तरह के कीमती फ्यूल और मिनरल भंडार को यूनाइटेड नेशन फ्रेमवर्क फॉर क्लासिफिकेशन (UNFC 1997) के तहत कैटेगराइज किया जाता है. जम्मू-कश्मीर में हाल के दिनों में जिस लीथियम भंडार का पता चला है वह UNFC 1997 के तहत G4 कैटेगरी का है. मतलब ये कि इस शुरूआती सर्वे में अनुमानित एमाउंट में लीथियम मिलने की बात सामने आई है. UNFC 1997 क्लासिफिकेशन में G4 कैटेगरी का मतलब रिकॉनसेंस सर्वे यानी आरएस सर्वे (Reconnaissance Surveys-RS) है. अभी लीथियम भंडार में मेटल कितने एमाउंट में है उसकी क्वालिटी और ग्रेड जैसे तमाम डिटेल सामने आने बाकी हैं. इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक जम्मू कश्मीर में लीथियम के अलावा एल्युमीनियम अयस्क बॉक्साइट और सीरियम, कैल्शिमय जैसे तमाम रेयर अर्थ एलिमेंट (Rare Earth Elements) भी हो सकते हैं.

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Lithium Mines in India: देश में पहली बार मिला लीथियम का भंडार, EV और मोबाइल फोन की बैटरी में होता है इस्तेमाल

देश में इन देशों से लाया जाता है लीथियम

जम्मू-कश्मीर में मिले हालिया लीथियम भंडार के लिए दो अहम बातें कहीं गई हैं. पहला "अनुमानित" और दूसरा जिन देशों में लीथियम भंडार है उनकी तुलना में ये काफी कम है. बोलिविया में 21 मिलियन टन लीथियम का भंडार है, अर्जेंटीना में 17 मिलियन टन, ऑस्ट्रेलिया में 6.3 मिलियन टन और अपने पड़ोसी देश चीन में 4.5 मिलियन टन लीथियम भंडार है. जम्मू-कश्मीर में मिला लीथियम भंडार इन सभी देशों की तुलना में काफी कम 5.9 मिलियन टन है. और ये आकड़ा भी अभी अनुमानित है. भारत में मिले लीथियम का आंकड़ा भले ही ऑस्ट्रेलिया और चीन के आकड़ें के बीच में हो, लेकिन यह आकड़ां अभी अनुमानित है. और सर्वे के शुरूआती फेज में जियोसाइंटिस्ट ने आकलन लगाया है.

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लीथियम निर्भरता के लिए यहां भी तलाश जारी

फिलहाल लीथियम की मांग पूरा करने के लिए भारत दूसरे देशों पर निर्भर है. इस मेटल के लिए चीन, अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया जैसे देशो से लीथियम को इंपोर्ट (आयात) करता है. लीथियम के मामले में आत्मनिर्भर बनने के लिए भारत जम्मू-कश्मीर के अलावा राजस्थान और गुजरात के ब्राइन पूल (Brine Pools) और ओडिशा और छत्तीसगढ़ के माइका बेल्ट (Mica belts) से लीथियम मिनरल की तलाश करने में जुटा है. भारत ज्यादातर लीथियम चीन से इंपोर्ट करता है. जब चीन-भारत के बीच आर्थिक समेत तमाम मसलो को लेकर विवाद की स्थिती बनी हुई है ऐसे में जम्मू-कश्मीर में लीथियम भंडार का मिलना देश के लिए अच्छी बात है.

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