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Vande Bharat: भारी भरकम किराए से यात्रियों ने बनाई दूरी, 70 से 80% सीटें जा रही हैं खाली, अब सस्‍ता करने की तैयारी

Vande Bharat Fair: वंदेभारत ट्रेनों में सीटें काफी हद तक खाली चल रही हैं. जून के आंकड़ों के मुताबिक, भोपाल-इंदौर वंदेभारत ट्रेन में केवल 29 फीसदी सीटें भरी हुई थीं.

Vande Bharat Fair: वंदेभारत ट्रेनों में सीटें काफी हद तक खाली चल रही हैं. जून के आंकड़ों के मुताबिक, भोपाल-इंदौर वंदेभारत ट्रेन में केवल 29 फीसदी सीटें भरी हुई थीं.

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FE Hindi Desk
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Vande Bharat

India Railway: इंडियन रेलवे जल्‍द ही वंदे भारत ट्रेन के किराए में कटौती कर सकती है.

Vande Bharat Train Fair: इंडियन रेलवे जल्‍द ही वंदे भारत ट्रेन के किराए में कटौती कर सकती है. असल में कम दूरी वाली कुछ वंदेभारत ट्रेनों में बहुत ज्‍यादा सीटें खाली रह जा रही हैं, जिसके चलते रेलवे यह कदम उठा सकती है. फिलहाल टिकट की कीमतों की समीक्षा चल रही है. सूत्रों के मुताबिक अपेक्षाकृत छोटी दूरी वाली कुछ वंदेभारत ट्रेनों में सीटें पूरी तरह भर नहीं पा रही हैं. ऐसी स्थिति में रेलवे उनके किराये की समीक्षा कर किराये में कटौती करने की योजना बना रहा है.

21 फीसदी सीटों के लिए ही रिजर्वेशन

इंदौर-भोपाल, भोपाल-जबलपुर और नागपुर-बिलासपुर जैसी वंदेभारत ट्रेनों के किराये की समीक्षा की जा रही है. इन सभी ट्रेनों में सीटें काफी हद तक खाली चल रही हैं. जून के आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, भोपाल-इंदौर वंदेभारत ट्रेन में केवल 29 फीसदी सीटें भरी हुई थीं, जबकि इंदौर-भोपाल ट्रेन में 21 फीसदी सीटों के लिए ही रिजर्वेशन हुआ था. करीब तीन घंटे का सफर तय करने वाली इस ट्रेन में एसी चेयर कार का किराया 950 रुपये है, जबकि एग्‍जीक्‍यूटिव चेयर कार का किराया 1525 रुपये रखा गया है.

अच्छी-खासी कटौती की तैयारी

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सूत्रों ने कहा कि भोपाल-इंदौर वंदेभारत ट्रेन में खाली सीटों की बड़ी संख्या को देखते हुए इसके किराये में अच्छी-खासी कटौती की जा सकती है. देश की सबसे आधुनिक एवं तेज रफ्तार वाली वंदेभारत ट्रेनों का सबसे लंबा सफर करीब 10 घंटे का है, जबकि सबसे छोटा सफर तीन घंटे का है. इनमें से कुछ ट्रेनों में सीटों के खाली रहने की समस्या दूर करने के लिए किराये की समीक्षा की जा रही है. रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इसके पीछे सोच यह है कि सभी वंदेभारत ट्रेन में यात्रियों को सुविधाजनक सफर का मौका मिले. हमने हालात की समीक्षा की है और हमारी राय है कि कुछ वंदेभारत ट्रेन, खासकर कम दूरी वाली, का किराया अगर घटा दिया जाता है तो वह ज्यादा अच्छा कर पाएंगी.

दूरी कम, किराया ज्‍यादा

उनका कहना है कि हम चाहते हैं कि अधिक से अधिक लोग इन ट्रेनों में सफर करें. हालांकि वंदेभारत ट्रेनों में सीटें लगभग भरी होती हैं लेकिन कुछ ट्रेनों में ऐसी स्थिति नहीं है. रेलवे उन्हें भी सफल बनाने के लिए जरूरी बदलाव करने जा रहा है. ऐसी ही एक ट्रेन नागपुर-बिलासपुर वंदेभारत ट्रेन भी है, जिसकी 55 फीसदी सीटें ही भरी रहती हैं. करीब साढ़े पांच घंटे के सफर वाली इस ट्रेन को लेकर आम धारणा यही है कि किराया कम करने से इसे यात्रियों के लिए आकर्षक बनाया जा सकता है. इसी तरह जून में भोपाल-जबलपुर वंदेभारत एक्सप्रेस की सिर्फ 32 फीसदी सीटें भरी हुई थीं. करीब 4.5 घंटे लंबा सफर तय करने वाली इस ट्रेन का एसी चेयर कार का किराया 1055 रुपये है, जबकि एग्‍जीक्यूटिव चेयर कार के टिकट की कीमत 1880 रुपये रखी गई है.

कासरगोड-त्रिवेंद्रम एक्सप्रेस में 183% बुकिंग

अभी तक देश के 24 राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों में वंदेभारत ट्रेनों का परिचालन हो रहा है. इनमें से कासरगोड-त्रिवेंद्रम एक्सप्रेस में 183 फीसदी बुकिंग रहती है और यह सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाली वंदेभारत ट्रेन है. गांधीनगर-मुंबई सेंट्रल, वाराणसी-नयी दिल्ली, देहरादून-अमृतसर और मुंबई-शोलापुर के बीच चलने वाली वंदेभारत ट्रेनों में भी 100 प्रतिशत से अधिक बुकिंग रहती है.

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