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Wrestlers Protest: पुलिस ने इस मामले पर कोई जवाब देने से किया इनकार (Prem Nath Pandey)
Wrestlers Protest: भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आ रही है. सांसद पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाली एक महिला रेसलर ने शुक्रवार को कहा कि उसे अशोक रोड स्थित सांसद बंगले में ले जाया गया. गौरतलब है ये वही जगह है जहां महिला पहलवान के साथ कथित तौर पर यौन-शोषण हुआ था. महिला पहलवान ने इंडियन एक्सप्रेस से बताया कि बाद में जब उसे यह जानकारी मिली कि बृज भूषण सिंह उसी जगह पर मौजूद हैं तो मैं डर गई थी.
महिला रेसलर का क्या है कहना?
महिला रेसलर ने इंडियन एक्सप्रेस से कहा, "जब मैंने पुलिस से पूछा, तो उन्होंने कहा कि वहां कोई नहीं है. लेकिन जब मैं घर वापस आई तो मुझे पता चला कि बृजभूषण वहां थे. बाद में मैंने देखा कि बृजभूषण ने मीडिया से बात की और कहा कि वह अंदर सो रहे हैं. मैं बहुत असहज थी क्योंकि वह एक आरोपी है और उसके खिलाफ एक एफआईआर दर्ज है. बस मौके पर जाकर पुलिस के साथ जो हुआ उसे दोहराना कठिन था. यह जानने के बाद कि वह वहां है, मुझे डर लग रहा था." इस मामले में पुलिस उपायुक्त (नई दिल्ली जिला) प्रणव तायल ने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया है. दिल्ली पुलिस के एक सूत्र ने कहा कि पहलवान को दो महिलाओं सहित पांच पुलिसकर्मियों के साथ दोपहर 1.30 बजे डब्ल्यूएफआई कार्यालय ले जाया गया था. सूत्र का कहना है कि आरोपी का घर और डब्ल्यूएफआई कार्यालय एक ही परिसर में है लेकिन दोनों एक दूसरे के विपरीत छोर पर स्थित हैं. बृजभूषण अपने घर पर थे लेकिन पहलवान और डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष एक दूसरे से नहीं मिले. वे वहां आधे घंटे तक रहीं, उन्हें डब्ल्यूएफआई कार्यालय के अंदर ले जाया गया. उन्हें यह बताने के लिए कहा गया था कि जब उन्हें उत्पीड़न का सामना करना पड़ा तो क्या हुआ था."
पुलिस ने कहा- रेसलर को सांसद के घर नहीं ले गए
वहीं, अशोक रोड स्थित अपने आवास के गेट पर पत्रकारों से बात करते हुए बृजभूषण सिंह ने कहा, "मुझसे मिलने कोई नहीं आया. मैं अपने कमरे में सो रहा था." महिला पहलवान ने यह भी कहा कि हालांकि उन्हें गुरुवार को पुलिस से एक नोटिस मिला था, लेकिन पुलिस ने ऐसा कोई कदम नहीं उठाया जिससे इसके बारे में मीडिया को कोई जानकारी न मिले. महिला पहलवान को 21 तक ले जाने के उद्देश्य को स्पष्ट करने के लिए नई दिल्ली के डीसीपी अशोका रोड ने एक ट्विटर पोस्ट में कहा, "गलत खबरें आ रही हैं कि महिला पहलवान बृजभूषण के घर जा रही हैं… दिल्ली पुलिस महिला पहलवान को भारतीय कुश्ती महासंघ के कार्यालय ले गई थी."
अनुराग ठाकुर से मीटिंग के बाद हुई यह घटना
इस मामले में यह डेवलपमेंट खेल मंत्री अनुराग ठाकुर द्वारा ओलंपिक पदक विजेता साक्षी मलिक और बजरंग पुनिया के साथ बैठक के दो दिन बाद आया है. उन्होंने आश्वासन दिया कि पुलिस 15 जून तक पहलवानों के सिंह के कथित यौन उत्पीड़न से संबंधित चार्जशीट दायर करेगी. पहलवानों ने खेल मंत्री से मुलाकात के बाद सिंह की गिरफ्तारी नहीं होने के विरोध में अपना धरना समाप्त कर दिया. एक दूसरी महिला पहलवान ने भी सिंह पर 2017 में दो बार डब्ल्यूएफआई कार्यालय में यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है. दिल्ली पुलिस ने 28 अप्रैल को छह वयस्क पहलवानों और एक नाबालिग से संबंधित दो प्राथमिकी दर्ज की, जिसमें पेशेवर सहायता के बदले कम से कम दो बार "यौन अनुग्रह" की मांग की गई.
एक नाबालिग आरोप ले चुकी है आरोप वापस
एक नाबालिग ने भी WFI अध्यक्ष पर यौन उत्पीड़न और पीछा करने का आरोप लगाया था. लेकिन बाद उसने में अपने आरोपों को वापस ले लिया. प्राथमिकी के अनुसार, डब्ल्यूएफआई कार्यालय में सिंह द्वारा कथित यौन उत्पीड़न की तीन घटनाएं हुईं जिनमें दो पहलवान शामिल थे. सिंह पर जबरन शारीरिक संपर्क बनाने और अनुचित व्यवहार करने का आरोप लगाया गया है. एफआईआर में भाजपा सांसद पर करीब 15 बार सेक्सुअल फेवर्स मांगने का आरोप लगाया गया है.