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His trial was declared as "unconstitutional" by the Lahore High Court (LHC) through a short order on January 13, leading to the annulment of the death sentence against the ex-Pakistan Army chief.
पाकिस्तान (Pakistan) के पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ (Pervez Musharraf ) को इस्लामाबाद की एक विशेष अदालत ने फांसी की सजा सुनाई है. अदालत ने देशद्रोह के मामले में मुशर्रफ के खिलाफ यह फैसला दिया है. यह जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स से सामने आई है. मुशर्रफ पाकिस्तान की सेना के जनरल भी रह चुके हैं.
पाकिस्तानी अखबार डॉन (Dawn) की रिपोर्ट के मुताबिक, पेशावर हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस वकार अहमद सेठ की अगुवाई वाली तीन सदस्यीय बेंच ने यह फैसला सुनाया. विशेष अदालत की इस बेंच में जस्टिस सेठ के अलावा सिंध हाई कोर्ट के जस्टिस नजर अकबर और लाहौर हाई कोर्ट के जस्टिस शाहिद करीम शामिल हैं. बेंच ने अपना फैसला 19 नवंबर को सुरक्षित कर लिया था.
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A special court hands death sentence to former military dictator Pervez Musharraf in a high treason case
— ANI Digital (@ani_digital) December 17, 2019
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इमर्जेन्सी शासन लागू करने के लिए हैं दोषी
76 वर्षीय मुशर्रफ के खिलाफ लंबे समय से देशद्रोह का मामला चल रहा है. मुर्शरफ ने 2007 में पाकिस्तान के संविधान को ताक पर रखकर इमर्जेन्सी शासन लागू किया था. यह एक दंडात्मक अपराध है और इसके लिए 2014 में उन्हें दोषी करार दिया गया था. मुशर्रफ मार्च 2016 में इलाज के लिए पाकिस्तान छोड़कर दुबई गए थे और तब से वापस नहीं लौटे हैं. इसके लिए सुरक्षा और स्वास्थ्य कारणों का हवाला दिया गया है.
Input: PTI