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Image: Reuters
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Summon to Alibaba and Jack Ma: एक भारतीय कोर्ट ने चीन की दिग्गज कंपनी अलीबाबा (Alibaba) और इसके फाउंडर जैक मा (Jack ma) को समन भेजा है. कंपनी द्वारा भारत में एक कर्मचारी को कथित रूप से गलत तरीके से नौकरी से निकाले जाने के मामले में यह समन भेजा गया है. अलीबाबा पर केस करने वाले पूर्व कर्मचारी का कहना है कि कंपनी के ऐप्स पर सेंसरशिप और फर्जी खबर को लेकर उसने आपत्ति जताई थी, जिसके बाद उसे नौकरी से निकाल दिया गया.
कुछ हफ्ते पहले ही भारत ने चीन के 59 ऐप्स को प्रतिबंधित किया है. इनमें अलीबाबा के यूसी न्यूज और यूसी ब्राउजर भी शामिल हैं. पूर्वी लद्दाख में सीमा पर भारत और चीन के सैनिकों के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद भारत ने राष्ट्रीय सुरक्षा पर खतरे का हवाला देते हुए चीनी ऐप्स को बैन करने का कदम उठाया. इस झड़प में भारत के 20 जवान शहीद हो गए थे. ऐप्स पर बैन की चीन ने आलोचना भी की थी. इसके बाद भारत ने सभी प्रभावित कंपनियों से लिखित रूप से जवाब मांगा था कि उन्होंने कंटेंट सेंसर किया था या नहीं या किसी विदेशी सरकार के लिए काम किया था या नहीं.
चीन की खिलाफत वाले सभी कंटेंट सेंसर करती थी कंपनी: पूर्व कर्मचारी
20 जुलाई की कोर्ट फाइलिंग के अनुसार, अलीबाबा की यूसी वेब के एक पूर्व कर्मचारी पुष्पेंद्र सिंह परमार ने आरोप लगाया है कि कंपनी चीन की खिलाफत वाले सभी कंटेंट को सेंसर करती थी और इसके यूसी ब्राउजर और यूसी न्यूज ऐप फेक न्यूज चलाते थे, जिससे सामाजिक और राजनीतिक अस्थिरता पैदा हो. परमार यूसी वेब के गुरुग्राम स्थित कार्यालय में अक्टूबर 2017 तक एसोसिएट डायरेक्टर थे. उन्होंने हर्जाने के तौर पर कंपनी से 2.68 लाख डॉलर (लगभग 2 करोड़ रु) मांगे हैं.
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29 जुलाई को कोर्ट में पेश होने का निर्देश
गुरुग्राम के एक जिला कोर्ट की सिविल जज सोनिया शेओकांड ने अलीबाबा, जैक मा और करीब दर्जन भर लोगों/कंपनी यूनिट्स के खिलाफ समन जारी किया है. कोर्ट के डॉक्युमेंट के मुताबिक, समन में उनसे कहा गया है कि वह 29 जुलाई को खुद कोर्ट में उपस्थित हों या अपने वकील को कोर्ट में भेजें. जज ने कंपनी और इसके एग्जीक्यूटिव्स से 30 दिन के अंदर लिखित जवाब भी देने को कहा है.