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कभी-कभी ऐसा होता है कि आपका कोई खास दोस्त अपने किसी जरूरी काम के लिए बैंक में लोन के लिए आवेदन किया है और कर्ज के लिए उसे किसी गारंटर की जरूरत पड़ती है. (Image- Pixabay)
Risk for a Loan Guarantor: कभी-कभी ऐसा होता है कि आपका कोई खास दोस्त अपने किसी जरूरी काम के लिए बैंक में लोन के लिए आवेदन किया है और कर्ज के लिए उसे किसी गारंटर की जरूरत है. ऐसे में हो सकता है कि आप उसके गारंटर बन जाएं या मना कर दें. अब यहां सवाल यह उठता है कि अपने किसी खास के लिए लोन गारंटर बनना सही है या नहीं तो इसका जवाब इसमें खोज सकते हैं कि लोन गारंटर की जरूरत क्यों पड़ती है और इसके रिस्क क्या हैं. नीचे इन सभी सवालों के जवाब दिए जा रहे हैं ताकि आप ऐसी किसी स्थिति में पड़ने पर सही फैसला ले सकें और बाद की दिक्कतों से बच सकें.
क्यों पड़ती है जरूरत?
वित्तीय संस्थान कई लोन आवेदन को अप्रूव करने के लिए किसी शख्स की गारंटी मांगते हैं. यह ऐसा शख्स होता है जो लोन गारंटर के रूप में वित्तीय संस्थान को गारंटी देता है कि अगर लोन आवेदक कर्ज चुकाने में फेल होता है तो वह लोन चुकता करेगा. इसका मतलब हुआ है कि एक तरह से लोन गारंटर भी लोन आवेदक है. लोन आवेदन में उसके भी हस्ताक्षर होते हैं. आमतौर पर वित्तीय संस्थान लोन गारंटर की मांग तब करते हैं, जब वे लोन आवेदक का क्रेडिट स्कोर कम होने के चलते उनककी कर्ज चुकाने की क्षमता को लेकर आश्वस्त नहीं होते हैं. इसके अलावा कुछ लोन आवेदक रोजगार के चलते बार-बार शहर बदलते हैं या उन पर बकाया लोन अधिक है तो बैंक गारंटर मांगते हैं.
गारंटर की क्या है जिम्मेदारियां?
लोन गारंटर की जिम्मेदारी एक तरह से लोन आवेदक की तरह ही होता है. अगर किसी वजह से आवेदक लोन नहीं चुका पाता है तो वित्तीय संस्थान लोन गारंटर से बकाए की वसूली कर सकते हैं. अगर गारंटर बकाया चुकाने से मना करता है तो वित्तीय संस्थान इसके लिए अदालत का सहारा ले सकती हैं और अदालत गारंटर को बकाया चुकता करने के लिए बाध्य कर सकती हैं.
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गारंटर पर ऐसे पड़ता है असर
- यदि लोन आवेदक कर्ज चुकता करने में असफल रहा है तो वित्तीय संस्थान गारंटर से इसे चुकाने को कहते हैं. अगर गारंटर बकाए का भुगतान नहीं करते हैं तो वित्तीय संस्थान के पास अपने पैसों के लिए उनकी संपत्ति की नीलामी का अधिकार होता है.
- किसी लोन का गारंटर बनने पर इसका असर क्रेडिट रिपोर्ट में दिखता है. इसका मतलब हुआ है कि अगर लोन आवेदक कर्ज चुकाने में असफल होता है तो इसका गारंटर के क्रेडिट प्रोफाइल पर निगेटिव इफेक्ट पड़ेगा.