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आज बाल दिवस हैं. इस मौके पर बच्चे के भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखकर वित्तीय योजना शुरू कर सकते हैं.
Children's Day: आज बाल दिवस हैं. इस मौके पर बच्चे के भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखकर वित्तीय योजना शुरू कर सकते हैं. आज बाजार में निवेश के कई विकल्प मौजूद हैं जिन्हें बच्चों के लिए या उनके नाम पर शुरू किया जा सकता है. इन सभी विकल्पों में किस विकल्प को चुना जाए, यह इस पर निर्भर करेगा कि आप बच्चों की किस जरूरत के लिए निवेश कर रहे हैं. यह फैसला बच्चों की पढ़ाई या शादी जैसी भविष्य की जरूरतों के अलावा कितनी राशि की जरूरत पड़ेगी, इस पर निर्भर करता है.
FD (फिक्स्ड डिपॉजिट्स)
निवेश के लिए यह आम विकल्प हैं. यह लोकप्रिय भी है. इसकी सबसे बड़ी वजह यह है कि जरूरत पड़ने पर इसे आसानी से विदड्रॉल किया जा सकता है. बच्चे के माता-पिता या कानूनी अभिभावक न्यूनतम 1000 रुपये में एफडी करा सकते हैं. एफडी पर करीब 6 फीसदी सालाना की दर से ब्याज मिलेगा. बैंकों के आधार पर ब्याज कम या अधिक हो सकता है, इसलिए निवेश से पहले सभी बैंकों में ब्याज दरों के बारे में पता कर लें.
गोल्ड ईटीएफ (Gold ETF)
हमारे यहां शादी के समय गोल्ड के लेन-देन की परंपरा रही है. हालांकि गोल्ड की कीमत अगले 15-20 वर्षों में किस ऊंचाई पर होगी, इसका अंदाजा लगाना मुश्किल हैं. इसके लिए अभी से तैयारी कर सकते हैं कि थोड़ी-थोड़ी सी मात्रा खरीदी जाए और भविष्य में यह मिलकर एक बड़ा अमाउंट हो जाएगा. इस बाल दिवस पर आप गोल्ड ईटीएफ का विकल्प चुन सकते हैं. यह निवेश का बेहतर विकल्प है और भविष्य में जब बच्चों को बड़ी मात्रा में पैसे की जरूरत होगी तो वह गोल्ड से इसे पूरा कर सकता है. यह एक्सचेंज ट्रेडेट फंड होता है जिसकी कीमत फिजिकल गोल्ड के बराबर होती है.
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सुकन्या समृद्धि योजना (SSY)
इस योजना के तहत शून्य से 10 साल की उम्र तक की लड़की के नाम पर माता-पिता या कानूनी अभिभावक खाता खोल सकते हैं. अभी इस पर 7.6 फीसदी का ब्याज मिल रहा है. सुकन्या समृद्धि योजना में सालाना 250 रुपये से 1.5 लाख रुपये तक जमा कर सकते हैं. इस योजना के तहत किए गए निवेश पर इनकम टैक्स की सेक्शन 80सी के तहत कर छूट भी मिलती है.
इस योजना के तहत खाता खोलने के 15 साल तक सालाना निर्धारित राशि जमा करनी होती है. इसमें निवेश 15 वर्ष तक के लिए होता है लेकिन इसकी मेच्योरिटी अवधि 21 वर्ष या 18 वर्ष का होने के बाद उसकी शादी होने तक है. हालांकि निवेश 15 साल तक ही होता है और 15 साल से लेकर 21 साल तक की बीच की अवधि में उस समय की ब्याज दर के हिसाब से पैसा जुड़ता रहेगा.
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पीपीएफ (PPF)
बच्चों के बेहतर भविष्य के लिए पीपीएफ भी बेहतर विकल्प है. इसे बच्चों के नाम पर माता-पिता या कानूनी अभिभावक खुलवा सकते हैं. अभी इस पर 7.1 फीसदी का ब्याज मिल रहा है. इसकी मेच्योरिटी पीरियड 15 साल है और इसमें अधिकतम 1.5 लाख रुपये का निवेश हो सकता है. इसमें निवेश का सबसे बड़ा फायदा यह है कि इसमें लॉक इन पीरियड 15 वर्ष है और इसे 5 साल के लिए बढ़वाया भी जा सकता है. इस तरह से बच्चे की पढ़ाई या शादी जैसी बड़ी जरूरत के वक्त पैसों की जरूरत पूरी हो जाती है.
म्यूचुअल फंड्स/SIP
आप चाहें तो अपने बच्चे के लिए म्यूचुअल फंड्स खरीद सकते हैं. इसके अलावा एसआईपी भी कर सकते हैं. आप किसी वित्तीय सलाहकार से मदद लेकर बेहतरीन एसआईपी प्लान ले सकते हैं. लंबी अवधि में इन पर बेहतरीन रिटर्न मिलता है और भविष्य में बच्चे की बड़ी जरूरत पूरी हो सकती है.