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फाइनेंशियल ईयर की शुरूआत में ही टैक्स सेविंग के उपायों पर ध्यान देना बेहतर तरीका होता है. (File)
Tax Saving Investment: नए फाइनेंशियल ईयर का पहला महीना अब खत्म होने वाला है. अगर आप इनकम टैक्स पे करते हैं तो इस साल फिरसे आपको प्लानिंग करनी पड़ेगी. बहुत से लोग साल के अंतिम महीनों में इस ओर ध्यान देते हैं और टेक्स सेविंग के लिए निवेश करना शुरू करते हैं. लेकिन इससे उन पर एक साथ ही बड़े खर्च का दबाव आ जाता है. बेहतर तरीका यह है कि अभी से टैक्स सेविंग के उपायों पर ध्यान दें. इसका एक बेहतर तरीका यह है कि इसी महीने से इक्विटी लिंक्ड सेविंग्स स्कीम (ELSS) में सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान यानी SIP मोड में निवेश करना शुरू कर दें. इससे आपके पास पूरे 12 महीने यानी 12 किस्तों में पैसा जमाकर इनकम टैक्स के सेक्शन 80सी के तहत टेक्स सेविंग का विकल्प होगा. अधिकतम 1.50 निवेश पर टैक्स छूट का फायदा मिलेगा.
SIP मोड कैसे है फायदेमंद
BPN फिनकैप के डायरेक्टर एके निगम का कहना है कि नया वित्त वर्ष शुरू होते ही टैक्स सेविंग के विकल्पों पर ध्यान देना समझदारी है. इससे आप पर एक साथ ही बड़ी रकम निवेश करने का दबाव नहीं आएगा. ELSS टैक्स सेविंग्स इन्वेस्टमेंट के पॉपुलर विकल्पों में है. इसमें एक मुश्त और SIP दोनों के जरिए निवेश किया जा सकता है. इसमें निवेश करने पर इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 80सी के तहत टैक्स का भी लाभ मिलता है. अधिकतम 1.50 रुपये निवेश पर फायदा ले सकते हैं. SIP का फायदा यह है कि मंथली 12500 रुपये निवेश कर आप इस लिमिट तक पहुंच सकते हैं. उनका कहना है कि ELSS ऐसा उपाय है, जिससे न सिर्फ टैक्स की बचत होती है, बल्कि बड़ा कॉर्पस बनाने में भी मदद मिलती है. कई ऐसे फंड हें, जो दूसरे इंसट्रूमेंट्स की तुलना में हाई रिटर्न दे रहे हैं.
5 साल में बेस्ट SIP रिटर्न वाले ELSS
Quant Tax Plan- Direct: 35% सालाना
IDFC Tax Advantage: 23% सालाना
Mirae Asset Tax Saver: 22% सालाना
BOI AXA Tax Advantage: 22% सालाना
Canara Robeco Eqt Tax Saver: 21% सालाना
PGIM Ind ELSS Tax Saver: 20% सालाना
(source: value research)
ELSS में निवेश के फायदे
- ELSS में कम से कम 80 फीसदी एक्सपोजर इक्विटी में होता है. वैसे यह टेक्निकली 100 फीसदी तक हो सकता है. इसमें सभी मार्केट कैप में निवेश करने की फ्लेक्सिबिलिटी है.
- ELSS में निवेश के लिए सबसे कम 3 साल का लॉक-इन पीरियड है, जबकि अन्य टैक्स सेविंग इंस्ट्रूमेंट्स में 5 साल का लॉक-इन पीरियड होता है.
- म्यूचुअल फंड में सिस्टेमैटिक इनवेस्टमेंट प्लान (एसआईपी) के जरिए भी निवेश कर सकते हैं.
- ELSS टैक्स सेविंग वाले विकल्पों में हाई रिटर्न देने वाला विकल्प है. यह एफडी, एनएससी जैसे दूसरे विकल्पों की तुलना में कई गुना रिटर्न दे सकता है.
- ELSS में निवेश पर होने वाला लाभ और रिडम्पशन से मिलत राशि भी पूरी तरह टैक्स फ्री है. इसससे 1 साल में 1 लाख रुपए तक की आय पर एलटीसीजी से छूट है. इस लिमिट से आय पर 10 फीसदी की दर से टैक्स लगता है.