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Good News! पेंशनभोगी अब साल में कभी भी ऑनलाइन जमा कर सकेंगे लाइफ सर्टिफिकेट, सरकार ने बदले नियम

लाइफ सर्टिफिकेट सबमिशन में हुए बदलावों से इंप्लॉई पेंशन स्कीम (EPS), 1995 के 64 लाख पेंशनर्स को फायदा होगा.

लाइफ सर्टिफिकेट सबमिशन में हुए बदलावों से इंप्लॉई पेंशन स्कीम (EPS), 1995 के 64 लाख पेंशनर्स को फायदा होगा.

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Ritika Singh
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Good News! pensioners will now be able to submit online life certificate during any time of the year, EPFO informs

Good News! pensioners will now be able to submit online life certificate during any time of the year, EPFO informs

EPFO: पेंशन पाने के लिए पेंशनभोगी अब अपनी सुविधानुसार साल में कभी भी ऑनलाइन लाइफ सर्टिफिकेट (Life Certificate) जमा कर सकेंगे. लाइफ सर्टिफिकेट सबमिशन में हुए बदलावों से इंप्लॉई पेंशन स्कीम (EPS), 1995 के 64 लाख पेंशनर्स को फायदा होगा. यह जानकारी कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) के ट्वीट से मिली है.

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लाइफ सर्टिफिकेट यानी जीवन प्रमाण पत्र पेंशनर के जीवित होने का सबूत होता है. इसके जमा नहीं किए जाने पर पेंशन मिलना बंद हो सकता है. अभी तक पेंशनभोगियों को पेंशन पाना जारी रखने के लिए हर साल नवंबर में अपना लाइफ सर्टिफिकेट उस बैंक में जमा करना होता है, जिसमें पेंशन आती है. EPFO ने ट्वीट में कहा है कि अब पेंशनर्स साल में कभी भी ऑनलाइन लाइफ सर्टिफिकेट जमा कर सकते हैं. जमा ​की जाने वाली तारीख से लेकर अगले 1 साल तक यह मान्य रहेगा.

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मैनुअली भी होता है जमा

लाइफ सर्टिफिकेट को पेंशनर अपने पेंशन अकाउंट वाली बैंक ब्रांच या किसी भी ब्रांच में जाकर फिजिकली/मैनुअली जमा कर सकते हैं. इसे डिजिटली किसी भी ब्रांच में, अपने PC/लैपटॉप/मोबाइल के जरिए https://jeevanpramaan.gov.in से, निकटतम आधार आउटलेट/CSC से, उमंग ऐप के जरिए जमा किया जा सकता है. डिजिटली लाइफ सर्टिफिकेट जमा करने के लिए आधार नंबर, मोबाइल नंबर, पेंशन पेमेंट ऑर्डर (PPO) नंबर व अकाउंट नंबर की जरूरत होती है. फिजिकल फॉर्म में लाइफ सर्टिफिकेट जमा करने के लिए इसे बैंकों की वेबसाइट से डाउनलोड कर भर के जमा कर सकते हैं.

याद रहे अगर पेंशनर की दोबारा नौकरी लग गई है या फैमिली पेंशनर की दोबारा शादी हो गई है तो लाइफ सर्टिफिकेट केवल फिजिकल फॉर्मेट में ही जमा होगा. जीवन प्रमाण पूरी जिंदगी के लिए मान्य नहीं होता है. इसकी वैधता अवधि पेंशन सैंक्शनिंग अथॉरिटी द्वारा तय नियमों के मुताबिक होती है. वैधता अवधि पूरी होने के बाद नए सर्टिफिकेट की जरूरत होती है.

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कैसे काम करता है डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट?

'जीवन प्रमाण' (Jeevan Pramaan) एक आधार बेस्ड डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट है. इसकी मदद से पेंशनर्स को अपनी निकटतम बैंक ब्रांच, कॉमन सर्विस सेंटर या किसी भी सरकारी ऑफिस में जाकर लाइफ सर्टिफिकेट को आधार नंबर के जरिए बायोमैट्रिकली ऑथेंटिकेट करना होता है. उन्हें पेंशन वाले बैंक अकाउंट से जुड़ी कुछ पेंशन डिटेल्स भी देनी होती हैं. इसके बाद लाइफ सर्टिफिकेट डिजिटली जमा हो जाता है.

ध्यान रखने वाली बात यह है कि डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट को आधार नंबर से तभी ऑथेंटिकेट किया जा सकता है, जब पेंशनर का अकाउंट आधार नंबर से लिंक हो. डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट सफलतापूर्वक जमा होने के बाद पेंशनर को रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर SMS आता है. इसमें एक ट्रांजेक्शन आईडी रहती है, जिससे पेंशनर jeevanpramaan.gov.in से कंप्यूटर जनरेटेड लाइफ सर्टिफिकेट डाउनलोड कर सकता है.

जरूरी डॉक्युमेंट

सर्टिफिकेट जमा करने के लिए निकटतम बैंक ब्रांच, CSC या सरकारी ऑफिस का पता jeevanpramaan.gov.in पर ‘लोकेट सेंटर’ ऑप्शन से लगाया जा सकता है. इन डॉक्युमेंट्स को अपने साथ लेकर जाएं- ओरिजिनल PPO, बैंक पासबुक, आधार कार्ड, इन सभी की फोटोकॉपी, मोबाइल नंबर, पेंशन सैंक्शनिंग अथॉरिटी का नाम.

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उमंग ऐप से भी मददगार

उमंग ऐप पर जीवन प्रमाण सर्च कर जनरेट लाइफ सर्टिफिकेट पर क्लिक करना होगा. इसके बाद खुले पेंशनर ऑथेंटिकेशन पेज में जरूरी जानकारी भरकर डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट जनरेट किया जा सकता है.

डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट के लिए रजिस्ट्रेशन

CSC, बैंकों और सरकारी ऑफिसेज द्वारा चलाए जा रहे जीवन प्रमाण सेंटर के जरिए डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेशन के लिए रजिस्ट्रेशन ​कराया जा सकता है. चाहें तो कंप्यूटर, मोबाइल या टैबलेट पर क्लाइंट एप्लीकेशन डाउनलोड कर रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं. इसकी पूरी जानकारी  jeevanpramaan.gov.in से ली जा सकती है.

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