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यूजर्स को जल्द ही ऑटोमैटिक फ़्रेमिंग, स्पीच ट्रांसक्रिप्शन समेत कई नए फीचर्स मिलने वाले हैं.
Google के पास दो वीडियो-कॉलिंग प्लेटफॉर्म- Google Meet और Google Duo है, जिनकी मदद से आप वीडियो कॉल के ज़रिए आपस में बात कर सकते हैं. Google अपने यूजर्स के अनुभव को बेहतर बनाने के लिए लगातार इसे अपडेट कर रहा है. इसी कड़ी में, Google ने एक और अपडेट किया है, जहां यूजर्स को जल्द ही ऑटोमैटिक फ़्रेमिंग, स्पीच ट्रांसक्रिप्शन समेत कई नए फीचर्स मिलने वाले हैं. इस नए फीचर की खास बात यह है कि गूगल मीट पर वीडियो कॉन्फ़्रेंसिंग के दौरान फ्रेम रेट अपने अनुसार सेट हो जायेगा. इसके साथ ही, नया फीचर यूजर्स के फ्रेम में चेहरे पर ज़ूम इन करने की भी सुविधा देगा.
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ऑटोमैटिक फ़्रेमिंग
इस फीचर की खास बात यह है कि गूगल मीट पर वीडियो कॉन्फ़्रेंसिंग के दौरान फ्रेम रेट अपने अनुसार सेट हो जायेगा. इसमें सभी लोग फ्रेम में समान रूप से दिखाई देंगे. इसके साथ ही, नया फीचर यूजर्स के फ्रेम में चेहरे पर ज़ूम इन करने की भी सुविधा देगा. कंपनी ने बताया है कि यह फीचर केवल एक बार काम करेगा वह भी वीडियो कॉल की शुरुआत में ताकि कोई मोशन डिस्ट्रैक्शन न हो. बाद में, उपयोगकर्ताओं के पास सेटिंग में जाकर किसी भी समय वीडियो को मैन्युअल रूप से रीफ़्रेम करने का विकल्प होगा. यह फीचर डिफ़ॉल्ट रूप से बंद हो जाएगी लेकिन इसे मीटिंग में यूजर्स द्वारा इनेबल किया जा सकता है. यह फीचर 2 नवंबर से यूजर्स के लिए रोल आउट होना शुरू हो जाएगी.
कंपनी ने बताया है कि मीटिंग होस्ट Google मीट हार्डवेयर डिवाइस का उपयोग करते हुए ब्रेकआउट रूम के लिए कॉन्फ़्रेंस रूम असाइन करने में सक्षम होंगे. इसके ज़रिए, मीटिंग में शामिल सभी लोग, चाहे वे ऑफिस के बाहर हो या ऑफिस से हों, कोलैबोरेटिव वर्किंग सेशन में इंगेज हो सकेंगे. Google ने पुष्टि की है कि यह सुविधा 24 अक्टूबर तक Google Workspace Essentials, बिजनेस स्टैंडर्ड, बिजनेस प्लस, एंटरप्राइज स्टार्टर, एंटरप्राइज Essentials, एंटरप्राइज स्टैंडर्ट, एंटरप्राइज प्लस और एजुकेशन प्लस ग्राहकों के लिए डिफ़ॉल्ट रूप से उपलब्ध होगी.
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कॉल के दौरान स्पीच ट्रांसक्रिप्शन फीचर
एक और खास बात जो Google मीट में आने वाली है, वह है Google मीट वीडियो मीटिंग को Google डॉक फ़ाइल में ट्रांसक्रिप्ट करने की क्षमता. कंपनी ने अपने ब्लॉग पोस्ट में उल्लेख किया है कि ट्रांसक्राइब की गई फाइल को फिर Google ड्राइव में होस्ट 'मीट रिकॉर्डिंग्स' फोल्डर में सेव हो जाएगा. इसमें आगे कहा गया है कि फिलहाल, ट्रांसक्रिप्शन केवल अंग्रेजी में उपलब्ध होगा.
(Article: Malvika Chawla)