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FY24: छोटी कंपनियों के शेयरों ने किया बड़ा कमाल, फाइनेंशियल ईयर में स्‍मॉलकैप और मिडकैप पर क्‍यों लट्टू हुए निवेशक

Midcap/Smallcap in FY24: बीएसई के मिड-कैप और स्मॉल-कैप इंडेक्‍स में लिस्‍ट मिड साइज और स्‍मॉल साइज कंपनियों के शेयरों ने फाइनेंशियल ईयर 2024 में 62% रिटर्न दिया है. मिड-कैप और स्मॉलकैप शेयरों का प्रदर्शन सेंसेक्स से बेहतर रहा है.

Midcap/Smallcap in FY24: बीएसई के मिड-कैप और स्मॉल-कैप इंडेक्‍स में लिस्‍ट मिड साइज और स्‍मॉल साइज कंपनियों के शेयरों ने फाइनेंशियल ईयर 2024 में 62% रिटर्न दिया है. मिड-कैप और स्मॉलकैप शेयरों का प्रदर्शन सेंसेक्स से बेहतर रहा है.

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FE Hindi Desk
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Small Size Companies Stock: छोटी कंपनियों के शेयर आमतौर पर स्थानीय निवेशकों द्वारा खरीदे जाते हैं, विदेशी निवेशक बड़ी कंपनियों के शेयर पर ध्यान केंद्रित करते हैं. (Pixabay)

Stock Market in FY24: बीएसई के मिड-कैप और स्मॉल-कैप इंडेक्‍स में लिस्‍ट मिड साइज और स्‍मॉल साइज कंपनियों के शेयरों ने फाइनेंशियल ईयर 2023-24 में करीब 62 फीसदी रिटर्न दिया है. मिड-कैप और स्मॉलकैप शेयरों का प्रदर्शन सेंसेक्स से बेहतर रहा है. यह देश में मजबूत वृहद आर्थिक परिस्थितियों और विभिन्न कंपनियों के तिमाही नतीजे बेहतर रहने के बीच निवेशकों की उत्साहपूर्ण भावना को दर्शाता है. एक एनालिसिस के अनुसार, बीएसई मिड-कैप इंडेक्‍स वित्त वर्ष 2023-24 में 15,013.95 अंक या 62.38 फीसदी उछल (Midcap Stocks in FY24) गया, जबकि स्मॉल-कैप 16,068.99 अंक या 59.60 फीसदी (Smallcap Stocks in FY24) चढ़ा. इसकी तुलना में, समीक्षाधीन वित्त वर्ष में 30 शेयर वाले बीएसई सेंसेक्स ने 14,659.83 अंक या 24.85 फीसदी बढ़त हासिल की.

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छोटी कंपनियों के शेयर क्‍यों चढ़े

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स्वास्तिका इन्वेस्टमार्ट लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्‍टर सुनील न्याति ने कहा कि मौजूदा वित्त वर्ष में सेंसेक्स की तुलना में छोटी कंपनी के शेयरों का बेहतर प्रदर्शन भारतीय घरेलू बाजार की गतिशील प्रकृति और निवेशकों को प्रदान किए जाने वाले विविध अवसरों को दर्शाता है. बाजार के विश्लेषकों के अनुसार, छोटी कंपनियों के शेयर आमतौर पर स्थानीय निवेशकों द्वारा खरीदे जाते हैं, जबकि विदेशी निवेशक बड़ी कंपनियों के शेयर पर ध्यान केंद्रित करते हैं. 

हेज फंड हेडोनोवा में सीआईओ सुमन बनर्जी ने कहा कि निवेशकों के सेंटीमेंट में यह बदलाव भारत में मजबूत व्यापक आर्थिक स्थितियों से प्रेरित है. यह परंपरागत रूप से आर्थिक विस्तार की अवधि के दौरान छोटी कंपनियों के शेयरों में तेज ग्रोथ को बढ़ावा देता है.

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ब्रॉडर मार्केट का मजबूत प्रदर्शन

व्यापक बाजार ने वित्त वर्ष 2023-24 में प्रभावशाली प्रदर्शन (stock market in financial year 2024) किया. 31 मार्च, 2023 को अपने 52 हफ्ते के निचले स्तर 23,881.79 अंक पर फिसलने के बाद बीएसई मिडकैप इंडेक्‍स 8 फरवरी को 40,282.49 के अपने लेवल पर पहुंच गया. बीएसई स्मॉल-कैप इंडेक्‍स 7 फरवरी को अपने आलटाइम हाई 46,821.39 पर पहुंच गया, जबकि पिछले साल 31 मार्च को यह 52 हफ्ते के निचले स्तर 26,692.09 अंक पर आ गया था. बीएसई का 30 शेयर वाला सेंसेक्स इस साल 7 मार्च को 74,245.17 अंक के अपने आलटाइम हाई पर पहुंच गया था.

फाइनेंशियल ईयर 2023 कैसा था हाल

बता दें कि वित्त वर्ष 2022-23 में बीएसई सेंसेक्स 423.01 अंक या 0.72 फीसदी चढ़ा था. हालांकि, बीएसई स्मॉल-कैप इंडेक्‍स 1258.64 अंक या 4.46 फीसदी गिरा था. जबकि मिडकैप में 42.38 अंक या 0.17 फीसदी की मामूली गिरावट आई थी. 

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