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Axiom 4 Mission: शुभांशु शुक्ला अन्य अंतरिक्ष यात्रियों के साथ अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर मौजूद हैं. (Image: X/@JonnyKimUSA)
Shubhanshu Shukla Return, Axiom Mission 4 : भारत के लिए आज एक और ऐतिहासिक दिन है. इंटरनेशन स्पेस स्टेशन (ISS) पर जाने वाले पहले भारतीय अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला आज अपने 18 दिन के अंतरिक्ष मिशन के बाद धरती लौटने की तैयारी कर रहे हैं. वह Axiom-4 (Ax-4) मिशन का हिस्सा हैं, जिसमें उनके साथ अमेरिका, पोलैंड और हंगरी के अंतरिक्ष यात्री भी शामिल हैं.
NASA की लेटेस्ट प्रेस रिलीज के मुताबिक भारतीय समयानुसार दोपहर 2 बजे ‘हैच क्लोज़िंग’ यानी अंतरिक्ष यान का दरवाजा बंद करने की प्रक्रिया शुरू होगी. इसके बाद 2 बजकर 25 मिनट पर क्रू मेंबर्स ड्रैगन यान में एंट्री करेंगे और 4 बजकर 15 मिनट पर अनडॉकिंग की शुरुआत होगी. यान का अंतरिक्ष स्टेशन से पूरी तरह से अलग होना लगभग शाम 4:30 बजे के आसपास तय है.
NASA इस पूरे वापसी यात्रा को NASA+ पर लाइव प्रसारित करेगा. अनडॉकिंग के लगभग 30 मिनट बाद तक यह कवरेज चलेगी. इसके बाद Axiom Space और SpaceX, ड्रैगन यान की धरती पर वापसी की लाइव स्ट्रीमिंग axiom.space/live और SpaceX की वेबसाइट पर करेंगे.
कितने घंटे में पूरी होगी धरती की वापसी यात्रा?
Axiom Space के मुताबिक पृथ्वी पर लौटने में अंतरिक्ष यात्रियों को करीब 22.5 घंटे लगेंगे. इसके साथ ही उनका करीब 18 दिनों का अंतरराष्ट्रीय स्पेस स्टेशन (ISS) पर बिताया गया मिशन पूरा हो जाएगा. धरती की वापसी यात्रा से पहले ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला ने अंतरिक्ष स्टेशन से एक भावुक विदाई भाषण भी दिया, जिसमें उन्होंने मिशन के अनुभव और भारत की अंतरिक्ष ताकत पर गर्व जताया.
15 जुलाई को होगा स्प्लैशडाउन
22.5 घंटे की यात्रा के बाद, Ax-4 मिशन का ड्रैगन यान 15 जुलाई को दोपहर लगभग 3 बजे अमेरिका के कैलिफोर्निया तट के पास प्रशांत महासागर में लैंड करेगा. इस मिशन के साथ न सिर्फ साइंटिफिक डेटा और 580 पाउंड से अधिक सामग्री धरती पर लौटेगी, बल्कि भारत के अंतरिक्ष इतिहास का एक नया अध्याय भी पूरा होगा.
शुभांशु शुक्ला ने कहा - भारत आज भी सारे जहां से अच्छा
ISS से धरती की वापसी यात्रा शुरू करने से पहले ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला ने भारत के पहले अंतरिक्ष यात्री राकेश शर्मा के ऐतिहासिक शब्दों को दोहराते हुए कहा - आज का भारत अंतरिक्ष से महत्वाकांक्षी, निडर, आत्मविश्वासी और गर्व से भरा हुआ दिखता है. और इसी वजह से आज मैं फिर कह सकता हूं कि भारत आज भी सारे जहां से अच्छा दिखता है. उन्होंने ISRO, NASA, Axiom Space, SpaceX और अंतरराष्ट्रीय सहयोगियों का धन्यवाद किया और कहा कि विश्वभर के वैज्ञानिकों के साथ काम करना उनके लिए अविश्वसनीय अनुभव रहा.
इस 18-दिवसीय अंतरिक्ष अभियान में, Ax-4 टीम ने जैव प्रौद्योगिकी, कृत्रिम बुद्धिमत्ता, पदार्थ विज्ञान और मानव स्वास्थ्य जैसे विषयों पर 60 से अधिक प्रयोग किए. Ax-4 मिशन की शुरुआत 25 जून को फ्लोरिडा स्थित NASA के लॉन्च पैड से SpaceX Falcon 9 रॉकेट के जरिए हुई थी. 26 जून शाम 4:05 बजे ड्रैगन यान सफलतापूर्वक ISS से जुड़ा था.
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Ax-4 मिशन क्रू मेंबर्स में कौन-कौन?
इस टीम में कुल चार अंतरिक्ष यात्री शामिल हैं
- कमांडर पेगी व्हिटसन (Commander Peggy Whitson) – अमेरिका
- पायलट शुभांशु शुक्ला (Pilot Shubhanshu Shukla) – भारत (ISRO)
- एस्ट्रोनॉट Slawosz "Suave" Uznanski-Wisniewski – पोलैंड (European Space Agency - ESA)
- एस्ट्रोनॉट टिबोर कापू (Tibor Kapu)– हंगरी (Hungarian)
इन सभी ने अंतरिक्ष में न सिर्फ रिसर्च किया, बल्कि दुनिया भर के युवा वैज्ञानिकों के लिए प्रेरणा भी बनें.