/financial-express-hindi/media/media_files/2025/05/14/lb6A2T3z77p6hnsdqfnl.jpg)
8th Pay Commission : 8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर के आधार पर कितनी बढ़ेगी सैलरी? (Image : Freepik)
8th Pay Commission : मोदी सरकार ने जब से 8वें वेतन आयोग के गठन की घोषणा की है, तभी से यह चर्चा तेज हो गई है कि इसमें फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) कितना होगा. फिटमेंट फैक्टर वह मल्टीप्लायर (multiplier) होता है जिसके आधार पर वेतन आयोग केंद्रीय कर्मचारियों की बेसिक सैलरी में बढ़ोतरी की सिफारिश करता है. केंद्र सरकार के करीब 1.2 करोड़ कर्मचारी और पेंशनर्स यह जानना चाहते हैं कि 8वां वेतन आयोग इस बार क्या फिटमेंट फैक्टर तय करता है और उसके आधार पर उनकी सैलरी और पेंशन में दरअसल कितना इजाफा होने वाला है.
8वें वेतन आयोग का ToR जल्द जारी होने की उम्मीद
सूत्रों के अनुसार केंद्र सरकार 8वें वेतन आयोग के लिए ToR (Terms of Reference) जल्द ही जारी कर सकती है. ToR तय होने के बाद वेतन आयोग के चेयरमैन और प्रमुख सदस्यों की नियुक्ति की जाएगी. पिछले महीने सरकार ने दो अलग-अलग सर्कुलर जारी करके यह बताया था कि 8वें वेतन आयोग के लिए 40 पदों पर नियुक्तियां की जाएंगी. वित्त मंत्रालय ने बताया था कि अधिकतर पद डेप्युटेशन यानी प्रतिनियुक्ति के आधार पर भरे जाएंगे.
क्या पूरी हो सकती है 2.86 फिटमेंट फैक्टर की मांग
कई कर्मचारी संगठन फिटमेंट फैक्टर को ज्यादा रखने की मांग कर रहे हैं. कुछ संगठन चाहते हैं कि यह 2.86 रखा जाए ताकि मौजूदा सैलरी और पेंशन में अच्छी खासी बढ़ोतरी हो सके. लेकिन सरकार की ओर से इस मांग को मान लिया जाना इतना आसान नहीं लग रहा है. पूर्व वित्त सचिव सुभाष गर्ग का कहना है कि 2.86 का इतना बड़ा इजाफा संभव नहीं है. कई जानकारों का मानना है कि 8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर करीब 1.92 हो सकता है.
फिटमेंट फैक्टर 2.86 हो या 1.92 असल में कितना बढ़ेगा वेतन?
सवाल यह है कि फिटमेंट फैक्टर चाहे 2.86 हो या 1.92 रखा जाए, असल में केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन में इससे कितनी बढ़ोतरी हो सकती है. इस मामले को ठीक से समझने के लिए यह जानना जरूरी है कि फिटमेंट फैक्टर को बेसिक सैलरी पर ही लागू किया जाता है. अगर फिटमेंट फैक्टर 1.92 तय होता है, तो मिनिमम बेसिक पे 34,560 रुपये तक पहुंच सकती है. यह संख्या सुनने में अच्छी लगती है, लेकिन एक्सपर्ट्स का मानना है कि इसका बड़ा हिस्सा केंद्रीय कर्मचारियों के महंगाई भत्ते (Dearness Allowance) और पेंशनर्स के महंगाई राहत (Dearness Relief) को एडजस्ट करने में चला जाता है. कुल वेतन में असल बढ़ोतरी इससे काफी कम होती है.
6वें और 7वें वेतन आयोग में क्या हुआ था
2006 में आए 6वें वेतन आयोग (6th Pay Commission) में फिटमेंट फैक्टर 1.86 था, लेकिन सैलरी में असली बढ़ोतरी लगभग 54% हुई थी.
2016 में लागू हुए 7वें वेतन आयोग (7th Pay Commission) में फिटमेंट फैक्टर 2.57 कर दिया गया, लेकिन सैलरी में असली बढ़ोतरी सिर्फ 14.2% रही.
इसका कारण यह है कि फिटमेंट का बड़ा हिस्सा केवल महंगाई भत्ते (DA) और महंगाई राहत (DR) को एडजस्ट करने में चला गया. 7वें वेतन आयोग की सिफारिशें 2016 में लागू हुई थीं, जिससे सरकार पर 1.02 लाख करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ पड़ा था.
कर्मचारियों की उम्मीदें और सरकार की तैयारी
इस समय लगभग 47 लाख केंद्र सरकार के कर्मचारी और 65 लाख पेंशनर्स इंतजार कर रहे हैं कि सरकार जल्द ToR फाइनल करे और आयोग के सदस्य नियुक्त हों, ताकि 8वां वेतन आयोग (8th Pay Commission) जल्द से जल्द काम करना शुरू कर दे और उसकी सिफारिशें भी समय पर लागू की जा सकें. कायदे से 8वें वेतन आयोग का कार्यकाल जनवरी 2026 में शुरू हो जाना चाहिए, क्योंकि 7वां वेतन आयोग 31 दिसंबर 2025 को समाप्त हो जाएगा.