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Mamta Kulkarni in Maha Kumbh : प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ 2025 के दौरान अभिनेत्री से संन्यासी बनी ममता कुलकर्णी. (Photo : Jansatta, X))
Mamta Kulkarni in Maha Kumbh : प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ 2025 के दौरान अभिनेत्री से संन्यासी बनी ममता कुलकर्णी के बारे में बड़ी खबर आई है. वे किन्नर अखाड़े की महामंडलेश्वर बनने जा रही हैं. इसके बाद उन्हें ममता कुलकर्णी की जगह महामंडलेश्वर ममता नंद गिरी के नाम से जाना जाएगा. खबर है कि इसके लिए ममता कुलकर्णी ने प्रयाग राज में संगम के किनारे खुद अपना पिंडदान किया और बताया जा रहा है कि उनका पट्टाभिषेक भी किया गया है. भगवा वस्त्र, गले में रुद्राक्ष की माला और कंधे पर झोला लिए ममता बनर्जी की तस्वीरें भी आई हैं.
महाकुंभ में ली संन्यास दीक्षा
ममता कुलकर्णी 90 के दशक की चर्चित अभिनेत्री रही हैं. उनके महाकुंभ मेले में आने की खबर पहले भी आती रही है. लेकिन खबर है कि उन्होंने किन्नर अखाड़े की आचार्य महामंडलेश्वर डॉ. लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी के सान्निध्य में संन्यास की दीक्षा ली है. उन्होंने संगम के तट पर खुद अपना पिंडदान करके अपनी नई आध्यात्मिक यात्रा की शुरुआत की. बताया जा रहा है कि 24 जनवरी की शाम प्रयागराज में एक विशेष समारोह के दौरान ममता कुलकर्णी का पट्टाभिषेक किया गया. इस अवसर पर जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर स्वामी जय अंबानंद गिरी भी मौजूद रहे. दीक्षा लेने के बाद अब ममता कुलकर्णी को ममता नंद गिरी के नाम से जाना जाएगा.
बॉलीवुड से अध्यात्म तक का सफर
ममता कुलकर्णी ने हिंदी सिनेमा में ‘करण अर्जुन’, ‘तिरंगा’, ‘चाइना गेट’, ‘बाजी’, और ‘छुपा रुस्तम’ जैसी सुपरहिट फिल्मों में अभिनय किया. ग्लैमर की दुनिया में नाम और शोहरत हासिल करने के बाद उन्होंने 1996 में अध्यात्म की ओर रुख किया. ममता का कहना है कि गुरु गगन गिरी महाराज से प्रेरित होकर उन्होंने धर्म और साधना का मार्ग चुना.
25 साल बाद भारत लौटकर लिया फैसला
ममता कुलकर्णी 25 सालों तक भारत से बाहर रहीं. दिसंबर 2024 में मुंबई एयरपोर्ट पर देखे जाने के बाद उनकी वापसी को लेकर कई अटकलें लगाई गईं. लेकिन ममता ने स्पष्ट किया कि वह केवल महाकुंभ 2025 में शामिल होने के लिए आई हैं. उन्होंने अपनी पिछली जिंदगी को पीछे छोड़कर अब धर्म और अध्यात्म को समर्पित कर दिया है.