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कीमत कटौती के बाद दिल्ली में एक लीटर पेट्रोल की कीमत अब 94.72 रुपये हो गई है.
लोकसभा चुनाव कार्यक्रम जारी होने से पहले सार्वजनिक क्षेत्र की पेट्रोलियम विपणन कंपनियों ने इसी गुरूवार को पेट्रोल और डीजल की कीमतों में दो-दो रुपये प्रति लीटर की कटौती कर दी. नई दरें शुक्रवार सुबह 6 बजे से लागू हो चुकी है. इन पेट्रोलियम उत्पादों की कीमतें करीब दो साल से स्थिर बनी हुई थीं. आखिरी बार 21 मई, 2022 यानी 22 महीने पहले फ्यूल के दाम घटाए गए थे.
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर गुरुवार 14 मार्च को किए गए एक पोस्ट में केंद्रीय पेट्रोलियम एंड नेचुरल गैस मंत्री हरदीप पुरी ने कहा कि पेट्रोल और डीजल के दाम 2 रुपए कम करके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक बार फिर साबित कर दिया कि करोड़ों भारतीयों के परिवार का हित और सुविधा उनका लक्ष्य है. यह कदम आम चुनाव की तारीखों का ऐलान करीब होने के बीच उठाया गया है. ऐसी संभावना है कि चुनाव आयोग जल्द ही चुनाव की तारीखों की घोषणा कर सकता है.
देश के प्रमुख हिस्से में इतने रुपये प्रति लीटर मिल रहा फ्यूल
इस कटौती के बाद राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पेट्रोल की कीमत अब 94.72 रुपये प्रति लीटर हो गई है. वहीं डीजल 87.62 रुपये प्रति लीटर मिल रहा है. मुंबई में पेट्रोल 104.21 रुपये, कोलकाता में 103.94 रुपये और चेन्नई में 100.75 रुपये प्रति लीटर मिल रहा है. वहीं डीजल मुंबई में 92.15 रुपये, कोलकाता में 90.76 रुपये और चेन्नई में 92.34 रुपये प्रति लीटर के रेट पर बिक रहा है. बता दें कि स्थानीय टैक्स के प्रभाव के आधार पर अलग-अलग राज्यों में पेट्रोल-डीजल की दरें अलग-अलग होती हैं.
फ्यूल की कीमतों में कटौती से होंगे ये फायदे
स्थानीय बिक्री कर (वैट) भाजपा-शासित महाराष्ट्र के महानगरों में सबसे अधिक जबकि दिल्ली में सबसे कम है. पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कमी से नागरिकों को अधिक खर्च-योग्य आय, पर्यटन और यात्रा उद्योगों को बढ़ावा, महंगाई दर पर नियंत्रण और परिवहन पर निर्भर व्यवसायों के खर्च में कमी आएगी.
इसके अलावा किसानों के लिए ट्रैक्टर संचालन और पंप सेट पर व्यय भी कम हो गया है. पिछले कुछ वर्षों में अंतरराष्ट्रीय तेल की कीमतें अशांत रही हैं. दो साल पहले यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमतें 140 डॉलर प्रति बैरल तक उछल गई थीं. हालांकि, बाद में तेल कीमतें नीचे आईं लेकिन पेट्रोल-डीजल की खुदरा कीमतों में दो साल से कोई बदलाव नहीं किया गया था.
इसके एक हफ्ते पहले घरेलू रसोई गैस एलपीजी की कीमत में 100 रुपये प्रति सिलेंडर की कटौती की घोषणा की गई थी. उस कटौती से आम उपयोगकर्ताओं के लिए एलपीजी की दरें घटकर 803 रुपये प्रति सिलेंडर हो गईं जबकि उज्ज्वला योजना के तहत मुफ्त कनेक्शन पाने वाले गरीबों को यह सिलेंडर 503 रुपये का हो गया.