scorecardresearch

सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ का बड़ा फैसला, पीएम, नेता विपक्ष और CJI की सिफारिश पर होगी चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति

Supreme Court on CEC and EC: सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि विपक्ष के नेता की गैरमौजूदगी में देश की सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी के नेता को कमिटी में शामिल किया जाएगा और राय ली जाएगी.

Supreme Court on CEC and EC: सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि विपक्ष के नेता की गैरमौजूदगी में देश की सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी के नेता को कमिटी में शामिल किया जाएगा और राय ली जाएगी.

author-image
FE Hindi Desk
एडिट
New Update
सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ का बड़ा फैसला, पीएम, नेता विपक्ष और CJI की सिफारिश पर होगी चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति

इससे पहले केंद्र सरकार इनका चयन करती थी (IE File Photo)

Supreme Court on CEC and EC: मुख्य चुनाव आयुक्त (Chief Election Commissioner) और चुनाव आयुक्तों (Election Commissioner) की नियुक्ति को लेकर गुरूवार को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने बड़ा फैसला सुनाया है. सरकार की शक्ति को सीमित करते हुए, सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुनाया कि अब उनकी नियुक्ति प्रधानमंत्री, लोकसभा में विपक्ष के नेता और भारत के मुख्य न्यायाधीश की एक समिति के परामर्श से की जाएगी.

सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?

न्यायमूर्ति के एम जोसेफ की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने मुख्य चुनाव आयुक्त और चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति के लिए एक स्वतंत्र तंत्र की मांग करने वाली याचिकाओं पर आंशिक रूप से अनुमति दिया. पीठ ने कहा कि जहां तक मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) के पद पर नियुक्ति की बात है और चुनाव आयुक्तों का संबंध है, भारत के राष्ट्रपति द्वारा भारत के प्रधान मंत्री, लोकसभा में विपक्ष के नेता और ऐसा कोई नेता नहीं होने की स्थिति में सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी के नेता के सलाह पर उनकी  नियुक्ति किया जाएगा. कोर्ट ने कहा कि यह तब तक कायम रहेगा जब तक कि संसद द्वारा कानून नहीं बना दिया जाता. इससे पहले केंद्र सरकार इनका चयन करती थी. 

Advertisment

Jobs Report February 2023: फरवरी में आईटी सेक्टर में हुई सबसे ज्यादा बहाली, रियल एस्टेट, हॉस्पिटैलिटी और हेल्थकेयर में भी दिखी ग्रोथ

संविधान पीठ में शामिल ये न्यायाधीश 

संविधान के अनुच्छेद 324 (2) में कहा गया है कि सीईसी और ईसी की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा मंत्रिपरिषद की सहायता और सलाह से की जाएगी, जब तक कि संसद चयन, सेवा की शर्तों और कार्यकाल के लिए मानदंड तय करने वाला कानून नहीं बनाती. बेंच में जस्टिस अजय रस्तोगी, अनिरुद्ध बोस, हृषिकेश रॉय और सीटी रविकुमार भी शामिल थे. 

Top Philanthropists in India: रतन टाटा से लेकर गौतम अडानी, ये हैं भारत के सबसे बड़े दानवीर, देखें लिस्ट

चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति हस्तक्षेप से मुक्त होना चाहिए: जस्टिस रस्तोगी

न्यायमूर्ति जस्टिस अजय रस्तोगी ने कहा कि एक स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए चुनाव आयोग के कार्यालय की तटस्थता और स्वतंत्रता को बनाए रखने के महत्व को ध्यान में रखते हुए, यह आवश्यक हो जाता है कि इसे टाला जाए. चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति कार्यकारी हस्तक्षेप से मुक्त होना चाहिए. मुख्य चुनाव आयुक्तों के लिए उपलब्ध सुरक्षा का विस्तार करना समय की आवश्यकता है. न्यायमूर्ति रस्तोगी ने आगे यह भी कहा कि सीईसी को हटाने के लिए उपलब्ध सुरक्षा चुनाव आयुक्तों पर भी लागू होनी चाहिए.

Supreme Court Prime Minister Cji Election Commission