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Tax filing Gets Easier: फॉर्म 16 के फॉर्मेट में बदलाव से ITR फाइल करने वालों को आसानी होगी. (Image : Pixabay)
ITR Filing To Get Easier With New Form 16 : हर साल इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) भरने वाले सैलरी पाने वाले कर्मचारियों के लिए एक अच्छी खबर है. इनकम टैक्स विभाग ने फॉर्म 16 के फॉर्मेट में कुछ बदलाव किए हैं. इन बदलावों से अब सैलरी में टैक्स, डिडक्शन और छूट की जानकारी पहले से कहीं ज्यादा साफ-सुथरी और विस्तार से दी जाएगी. इससे उन लोगों को बड़ी राहत मिलेगी जिन्हें ITR भरने में परेशानी होती है.
फॉर्म 16 क्या होता है
फॉर्म 16 एक ऐसा दस्तावेज़ होता है जिसे कंपनियां अपने कर्मचारियों को जारी करती हैं. यह प्रमाण होता है कि कंपनी ने उनके वेतन पर कटे टैक्स को इनकम टैक्स विभाग में जमा किया है. इसमें साल भर की कमाई, टैक्स कटौती और आयकर अधिनियम के तहत मिलने वाली छूट की जानकारी होती है.
फॉर्म 16 के पार्ट A और पार्ट B में क्या होता है
फॉर्म 16 के दो हिस्से होते हैं - पार्ट A और पार्ट B. पार्ट A में कंपनी का पैन/टैन नंबर और कितनी TDS (टैक्स डिडक्शन) की गई, इसकी जानकारी होती है. पार्ट B में सैलरी का पूरा ब्रेकअप होता है और किन-किन सेक्शन्स में टैक्स में छूट मिली, इसकी जानकारी होती है (जैसे 80C, 80D, 80G वगैरह).
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फॉर्म 16 में क्या बदलाव हुए हैं
अब नए फॉर्म 16 में पहले से ज्यादा विस्तार से जानकारी मिलेगी. आपको पता चलेगा कि कौन-से भत्तों (Allowances) पर टैक्स नहीं लगेगा, कितनी कटौती हुई और सैलरी के किन हिस्सों पर टैक्स लगा. इससे ITR भरते समय गलतियां कम होंगी और रिफंड क्लेम करना भी आसान हो जाएगा.
फॉर्म 16 में बदलाव क्यों किए गए हैं
सरकार का मकसद है कि टैक्सपेयर्स को सटीक और पूरी जानकारी दी जाए ताकि वे गलती न करें और बेवजह नोटिस न आए. इससे टैक्स सिस्टम पारदर्शी बनेगा और ITR फाइल करना पहले से आसान होगा.
कब से लागू होंगे नए बदलाव
ये नए नियम 20 फरवरी 2025 से लागू हो चुके हैं और वित्त वर्ष 2024-25 (एसेसमेंट इयर 2025-26) की टैक्स फाइलिंग पर लागू होंगे.
फॉर्म 24Q भी हुआ अपडेट
कंपनियां जो फॉर्म 24Q टैक्स विभाग को देती हैं, उसमें भी एक नया कॉलम 388A जोड़ा गया है. इससे कंपनियों के लिए टैक्स रिपोर्टिंग आसान होगी और कर्मचारियों को सही टैक्स डिटेल मिलेंगे.
अग्निवीर कॉर्पस फंड और न्यू टैक्स रिजीम
अगर आप ‘अग्निपथ स्कीम’ के तहत अग्निवीर हैं, तो सरकार द्वारा आपके ‘अग्निवीर फंड’ में जमा की गई रकम को अब आपकी सैलरी का हिस्सा माना जाएगा. हालांकि घबराने की जरूरत नहीं है, क्योंकि इस रकम पर आपको सेक्शन 80CCH के तहत टैक्स छूट मिल जाएगी.
कुछ सुविधाएं अब टैक्स के दायरे में
अगर कंपनी ने आपको मुफ्त में घर दिया है (Rent-Free Accommodation), तो इसे अब एक सुविधा यानी ‘Perquisite’ माना जाएगा और इस पर इनकम टैक्स लग सकता है. इस तरह, नया फॉर्म 16 न सिर्फ टैक्सपेयर्स की परेशानियां कम करेगा बल्कि टैक्स सिस्टम को ज्यादा पारदर्शी और यूजर-फ्रेंडली भी बनाएगा.