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PNB Loan Fraud: पीएनबी लोन फ्रॉड केस का भगोड़ा आरोपी मेहुल चोकसी बेल्जियम में गिरफ्तार, भारत के कहने पर हुई कार्रवाई

PNB Loan Fraud Case : 13,000 करोड़ रुपये के पीएनबी लोन फ्रॉड केस का मुख्य आरोपी मेहुल चोकसी बेल्जियम में गिरफ्तार कर लिया गया है. बेल्जियम के अधिकारियों ने यह कार्रवाई भारत सरकार के अनुरोध पर की है.

PNB Loan Fraud Case : 13,000 करोड़ रुपये के पीएनबी लोन फ्रॉड केस का मुख्य आरोपी मेहुल चोकसी बेल्जियम में गिरफ्तार कर लिया गया है. बेल्जियम के अधिकारियों ने यह कार्रवाई भारत सरकार के अनुरोध पर की है.

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FE Hindi Desk
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PNB Loan Fraud Case : पीएनबी लोन फ्रॉड केस का मुख्य आरोपी मेहुल चोकसी बेल्जियम में गिरफ्तार कर लिया गया है. (Express Archive)

PNB Loan Fraud Case : पीएनबी लोन फ्रॉड केस में लंबे समय से फरार चल रहे हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी को आखिरकार बेल्जियम में गिरफ्तार कर लिया गया है. इंडियन एक्सप्रेस में सूत्रों के हवाले से प्रकाशित खबर के मुताबिक बेल्जियम की अथॉरिटीज ने यह कार्रवाई भारत सरकार के अनुरोध पर की है. चोकसी पर पंजाब नेशनल बैंक के साथ करीब 13,000 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी करने का आरोप है. चोकसी 2018 में ही देश छोड़कर चला गया था और तब से फरार चल रहा था. इस गिरफ्तारी को भारत सरकार के लिए बड़ी कामयाबी माना जा रहा है.

एंटवर्प में ली थी शरण

मेहुल चोकसी ने बेल्जियम के एंटवर्प शहर में ‘रेजिडेंसी कार्ड’ लेकर शरण ले रखी थी. इससे पहले वह कैरिबियाई देश एंटीगुआ और बारबुडा में भी रहा, जहां उसने नवंबर 2017 में नागरिकता ली थी. यह कदम उसने एफआईआर दर्ज होने से दो महीने पहले ही उठा लिया था. बताया जा रहा है कि उसकी पत्नी प्रीति चोकसी बेल्जियम की नागरिक हैं.

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CBI और ED ने किया था प्रत्यर्पण का अनुरोध

सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा मेहुल चोकसी को भारत लाने के प्रयास लंबे समय से जारी थे. इस साल की शुरुआत में विदेश मंत्रालय के जरिए भारत ने बेल्जियम सरकार से उसके प्रत्यर्पण का औपचारिक अनुरोध किया था. इसके बाद चोकसी को बीते शनिवार को हिरासत में लिया गया. सूत्रों के अनुसार अब CBI की एक टीम बेल्जियम रवाना होगी ताकि प्रत्यर्पण की प्रक्रिया और जरूरी दस्तावेजी कार्रवाई को पूरा किया जा सके.

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भगोड़ा आर्थिक अपराधी घोषित

मेहुल चोकसी के खिलाफ भगोड़ा आर्थिक अपराधी (Fugitive Economic Offenders - FEO) एक्ट के तहत कार्रवाई की जा रही है. इस कानून के तहत सरकार को अधिकार है कि वह आरोपी की संपत्तियों को ट्रायल शुरू होने से पहले ही जब्त कर सकती है. ईडी पहले ही मुंबई की एक विशेष अदालत में यह दावा कर चुका है कि चोकसी ने भारत से भागने की योजना बहुत पहले बना ली थी.

गौरतलब है कि चोकसी ने 2 जनवरी 2018 को भारत छोड़ा था, जबकि पीएनबी घोटाले में एफआईआर कुछ दिन बाद दर्ज हुई थी. एजेंसी का यह भी आरोप है कि चोकसी ने कुछ बैंक अधिकारियों की मिलीभगत से पीएनबी की ब्रैडी हाउस शाखा से फर्जी लेटर ऑफ अंडरटेकिंग (LoU) और विदेशी लेटर ऑफ क्रेडिट (Foreign Letter of Credit - FLC) का गलत तरीके से इस्तेमाल किया था.

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नीरव मोदी भी इस घोटाले में आरोपी

मेहुल चोकसी का भांजा और हीरा व्यापारी नीरव मोदी भी इस घोटाले में सह-आरोपी है. उसे 2019 में लंदन में गिरफ्तार किया गया था और वह अब भी ब्रिटेन की जेल में बंद है. सरकार नीरव मोदी को भी प्रत्यर्पण के जरिये भारत लाने की कोशिश कर रही है, जिसे वह ब्रिटेन की कानूनी प्रक्रिया के तहत चुनौती देकर रोकने की कोशिश कर रहा है.

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