scorecardresearch

EPFO: ईपीएफओ मेंबर्स को मिलती है 7 तरह की पेंशन, प्राइवेट जॉब में हैं तो समझ लें नियम

EPFO Pension: पेंशन स्कीम का लाभ तभी मिलेगा जब संगठित क्षेत्र में नौकरी का कार्यकाल कम से कम 10 साल होगा. हालांकि ये पेंशन 58 साल की उम्र पूरी होने के बाद कर्मचारी को मिलनी शुरू होगी.

EPFO Pension: पेंशन स्कीम का लाभ तभी मिलेगा जब संगठित क्षेत्र में नौकरी का कार्यकाल कम से कम 10 साल होगा. हालांकि ये पेंशन 58 साल की उम्र पूरी होने के बाद कर्मचारी को मिलनी शुरू होगी.

author-image
Mithilesh Kumar
New Update
EPFO : EPS new rules for pension

EPFO Provident Fund: एम्पलाइज पेंशन स्कीम का लाभ पाने के लिए संगठित क्षेत्र के कर्मचारी को 58 साल की उम्र पूरी करनी होगी.

EPFO Pension Scheme: कर्मचारी भविष्य निधि संगठन यानी एम्पलाइज प्रॉविडेंट फंड ऑर्गेनाइजेशन (EPFO) संगठित क्षेत्र में काम करने वाले लाखों कर्मचारियों को सामाजिक सुरक्षा देता है. इसके जरिए उन्हें प्रॉविडेंट फंड, इंश्योरेंस और पेंशन जैसे लाभ मिलते हैं. किसी भी कंपनी में बतौर कर्मचारी शामिल होने के बाद लोग ईपीएफओ के मेंबर बन जाते हैं. इसके साथ ही मेंबर ईपीएफओ के प्रॉविडेंट फंड, इंश्योरेंस और पेंशन जैसे लाभ पाने के दावेदार हो जाते हैं. हालांकि इसके लिए उन्हें पात्रता पूरी करनी होगी. आज हम ईपीएफओ की पेंशन बेनिफिट के बारे में जानेंगे.

ऑर्गेनाइज्ड सेक्टर में काम कर रहे कर्मचारियों के लिए ईपीएफओ एक पेंशन स्कीम प्रदान करती है जिसका नाम एम्पलाइज पेंशन स्कीम है. इस स्कीम की पात्रता पूरी करने पर पेंशन का लाभ मिलता है. विशेष स्थिति में परिजनों या नॉमिनी को वित्तीय सहायता दिए जाने का प्रावधान है.

Advertisment

Also read : APY Explained : अटल पेंशन योजना से कैसे होगा हर महीने 10 हजार का इंतजाम, बेहद कम प्रीमियम में मिलती है गारंटीड इनकम

भारत में EPFO का होना बहुत जरूरी है क्योंकि ये लाखों लोगों को रिटायरमेंट के बाद या उससे पहले विशेष परिस्थितियों में मेंबर्स के परिजनों को वित्तीय सहायता देता है. कर्मचारियों को सामाजिक और वित्तीय सुरक्षा देने के लिए इपीएफओ प्रॉविडेंट फंड बनाता है. बात करें पीएफ फंड की तो इसमें कंपनी और कर्मचारी, दोनों की ओर से योगदान यानी कॉन्ट्रिब्यूशन जाता है. किसी कंपनी में बतौर कर्मचारी शामिल होने के बाद वह अपनी बेसिक सैलरी और महंगाई भत्ते का 12 फीसदी हिस्सा देना शुरू कर देता है और इतना ही कॉन्ट्रिब्यूशन कंपनी की ओर से पीएफ फंड में किया जाता है. हालांकि कंपनी का कॉन्ट्रिब्यूशन दो अकाउंट में बटता है. जिसमें से 8.33 फीसदी हिस्सा एम्पलाइज पेंशन स्कीम (EPS) यानी पेंशन फंड में जमा होता है और 3.67 फीसदी हिस्सा एम्पलाइज प्रॉविडेंट फंड यानी ईपीएफ (EPF) में जाता है.

क्या है एम्पलाइज पेंशन स्कीम?

एम्पलाइज पेंशन स्कीम एक पेंशन स्कीम है, जिसको मैनेज करने का काम ईपीएफओ (EPFO) का होता है. EPS को वर्ष 1995 में लॉन्च किया गया था. यह ऑर्गेनाइज्ड सेक्टर में काम कर रहे कर्मचारियों के लिए है. इस योजना का लाभ तभी मिलेगा जब आपके नौकरी का कार्यकाल कम से कम 10 साल होगा. हालांकि यह पेंशन आपको 58 साल की उम्र पूरी होने के बाद मिलनी शुरू होगी. हम सभी जानते हैं कि नौकरी के दौरान कर्मचारी और कंपनी की ओर से प्रॉविडेंट फंड यानी पीएफ फंड में हर महीने कॉन्ट्रिब्यूशन जाता है.

इस पीएफ फंड में कॉन्ट्रिब्यूशन देने वाले कर्मचारी कितने साल की नौकरी के बाद कितने तरह के पेंशन के लिए हकदार होते हैं और किन हालातों में उन्हें या उनके परवार के लोंगो को इन पेंशन का लाभ मिलता है

प्राइवेट जॉब वालों को कब मिलती है पेंशन

एम्पलाइज पेंशन स्कीम के तहत पेंशन पाने के लिए कर्मचारी को कुछ मानदंडों को पूरा करना होता है जो इस प्रकार हैं

किसी भी कंपनी में काम कर रहे कर्मचारी को ईपीएफओ का सदस्य होना जरूरी है.

इस योजना का लाभ तभी मिलेगा जब आपके नौकरी का कार्यकाल कम से कम 10 साल होगा.

एम्पलाइज पेंशन स्कीम का लाभ पाने के लिए संगठित क्षेत्र के कर्मचारी को 58 साल की उम्र पूरी करनी होगी.

कर्मचारी 50 साल की उम्र से कम दर पर अपना ईपीएस यानी पेंशन रकम भी निकाल सकते हैं.

कंपनी के कर्मचारियों के रिटायर होने की उम्र 58 साल है. रिटायरमेंट की उम्र पूरी होने जाने के बाद कर्मचारी दो साल या 60 साल की उम्र तक पेंशन स्थगित कर सकते हैं. ऐसा करने के बाद उन्हें सालाना 4% की अतिरिक्त दर से पेंशन मिलेगी. 

एम्पलाइज पेंशन स्कीम में योगदान देने वाले सदस्यों को इन भत्तों के माध्यम से लगातार आमदनी होती रहेगी.

Also read: SIP in Child Plan : 14 से 16% एनुअलाइज्‍ड रिटर्न वाले चाइल्‍ड प्‍लान, 5 हजार मंथली बचत से मिला 2 करोड़, कहां मिलेगा इतना फायदा

EPFO मेंबर के लिए इतने तरह की है पेंशन

ईपीएफओ न्यूजलेटर के अनुसार, एम्पलाइज पेंशन स्कीम अप्रैल 2024 से जून 2024 तक कई प्रकार के पेंशन लाभ प्रदान करती है.

सुपरएन्युएशन पेंशन (Superannuation Pension)

सुपरएन्युएशन पेंशन अगर किसी कर्मचारी ने 10 साल या उससे अधिक संगठित क्षेत्र में नौकरी की है और 58 साल की उम्र पूरी होने के बाद रिटायर होता है तो उसे सुपरएन्युएशन पेंशन का लाभ मिलेगा.

अर्ली पेंशन (Early Pension)

अगर कर्मचारी ने 10 साल या उससे अधिक समय तक नौकरी की है और 58 साल की उम्र पूरी करने से पहले रिटायरमेंट ले लेता है या फिर नौकरी में नहीं रहता है तो वह अर्ली पेंशन का हकदार होता है.

ईपीएफओ के नियमों के मुताबिक, कर्मचारी रिटायरमेंट से पहले 50 से 58 साल के बीच अर्ली पेंशन के लिए क्लेम कर सकते हैं. हालांकि अगर कोई कर्मचारी 58 साल से पहले पेंशन लेता है, तो उसे पेंशन रकम कम मिलती है. 58 साल से जितने साल पहले पेंशन पैसे निकाले जाएंगे, हर साल 4 फीसदी की दर से पेंशन घटकर मिलेगी. उदाहरण के लिए, अगर कोई कर्मचारी 56 साल में अर्ली पेंशन के लिए क्लेम करता है, तो उसे मूल पेंशन अमाउंट से 92 फीसदी हिस्सा ही मिलेगा.

विकलांगता पेंशन (Disablement Pension)

ईपीएस 95 के तहत विकलांगता पेंशन उन सदस्यों को वित्तीय सहायता प्रदान करती है जो अपनी सेवा के दौरान स्थायी रूप से और पूरी तरह से विकलांग हो जाते हैं.

विडो एंड चिल्ड्रेन पेंशन (Widow and Children Pension)

विडो एंड चिल्ड्रेन पेंशन यानी विधवा/विधुर पेंशन असमय मृत्यु हो जाने की स्थिति ईपीएफओ सदस्य के जीवनसाथी को वित्तीय सहायता सुनिश्चित करती है. यह लाभ जीवित जीवनसाथी को मंथली पेंशन के रुप में मिलती है, जिससे उन्हें अपने साथी को खोने के बाद अपनी वित्तीय जरूरतों को पूरा करने में मदद मिल सकती है.

ईपीएस 95 के तहत चिल्ड्रेन पेंशन मृतक ईपीएफओ सदस्य के दो बच्चों को वित्तीय सहायता प्रदान करती है. हर बच्चा 25 साल की उम्र तक मंथली पेंशन के लिए हकदार होता है. इस चिल्ड्रेन पेंशन से बच्चों की शिक्षा और परवरिश में मदद मिल सकती है.

अनाथ पेंशन (Orphan Pension)

मृतक ईपीएफओ सदस्य के जीवनसाथी (पति या पत्नी) के भी जीवित न होने की स्थिति में बच्चों को अनाथ पेंशन के रूप में वित्तीय सहायता मिलेगी. इस मंथली पेंशन से अनाथ हो गए बच्चों की परवरिशन और शिक्षा में मदद मिलती है.

नॉमिनी पेंशन (Nominee Pension)

नॉमिनी पेंशन उन ईपीएफओ सदस्य द्वारा बनाए गए नॉमिनी को ये पेशन मिलती है. सदस्य की कोई जीवनसाथी या बच्चा न होने की स्थिति में ईपीएफओ सदस्य की मृत्यु होने पर उसके द्वारा बनाए गए नॉमिनी को ये पेंशन मिलती है. अगर ईपीएफओ सदस्य ने अपने माता और पिता को नॉमिनी बनाया है तो ऐसी स्थिति में तय हिस्से के हिसाब से पेंशन की रकम दोनों को मिलेगी. अगर उसने पिता या माता में से किसी एक को ही नॉमिनी बनाया है तो उसे पेंशन रकम मिलेगी.

आश्रित माता व पिता को पेंशन (Dependent Parent Pension)

अगर सदस्य की मृत्यु के समय कोई परिवार का सदस्य न रहा हो (पति/पत्नी, बच्चे) और उसने पेंशन के लिए किसी को नामित न किया हो तो ऐसी स्थिति में डिपेन्डेंट पेरेंट यानी आश्रित माता-पिता पेंशन के हकदार होंगे. ऐसी स्थिति में उन्हें यह पेंशन मिलेगी.

Also read : EPFO: 10000 रुपये बैसिक सैलरी से बन सकता है 1 करोड़ से अधिक रिटायरमेंट कॉर्पस, जानने के लिए पढ़िए पूरा कैलकुलेशन

तमाम तरह की पेंशन अलग-अलग हालातों में ईपीएफओ मेंबर और उनके परिवारों को वित्तीय सुरक्षा देती है. इन पेंशन को हासिल करने के लिए ईपीएफओ मेंबर और विशेष परिस्थितियों में उनके परिवार के हकदार लोगों को दावा करना होता है. जिसके बारे में आगे डिटेल दी गई है.

पेंशन क्लेम करने के लिए भरना होगा ये फार्म

ईपीएफ खाते से पेंशन पाने के लिए फॉर्म 10D भरना पड़ता है. फॉर्म 10D कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) द्वारा जारी किया गया एक महत्वपूर्ण दस्तावेज है, जिसके माध्यम से कर्मचारी पेंशन योजना (EPS 95) के तहत मंथली पेंशन का दावा किया जा सकता है. यह फॉर्म पेंशन के मुख्य दावेदार द्वारा भरा जाता है. ईपीएफ मेंबर की मृत्यु हो जाने की स्थिति में उपरोक्त पेंशन का दावा करने के लिए परिवार के सदस्य, जैसे मृतक के पति/पत्नी, उनके बच्चे, आश्रित माता-पिता या नॉमिनी अप्लाई कर सकते हैं.

Pension Schemes Pension Scheme Provident Fund Pension Epfo Employees Provident Fund Organisation Pension Plan Pension Fund Pensioners Employees Provident Fund