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HDFC Retirement Savings Fund Equity Plan ने निवेशकों को पिछले 5 साल में बेहतरीन रिटर्न दिए हैं. (Image : Financial Express)
HDFC Retirement Savings Fund Equity Plan: रिटायरमेंट के लिए पैसे जमा करने की बात होने पर सबसे पहले पब्लिक प्रॉविडेंट फंड (PPF), एंप्लाईज प्रॉविडेंट फंड (EPF) या नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) जैसी योजनाओं का ध्यान आता है. ये सभी योजनाएं रिटायरमेंट के बाद आर्थिक सुरक्षा देने वाली जानी-मानी स्कीम हैं, जिनमें बड़ी संख्या में लोग निवेश करते हैं. लेकिन इन योजनाओं के अलावा कई म्यूचुअल फंड हाउस के रिटायरमेंट प्लान भी बाजार में मौजूद हैं, जिनमें इक्विटी में निवेश पर फोकस करने वाली योजनाएं भी शामिल हैं. इन म्यूचुअल फंड स्कीम्स में पीपीएफ या ईपीएफ की तरह फिक्स्ड या गारंटीड रिटर्न तो नहीं मिलते हैं, लेकिन इनमें निवेश की गई रकम पर हाई रिटर्न मिलने की गुंजाइश जरूर रहती है. ऐसी ही एक स्कीम एचडीएफसी म्यूचुअल फंड हाउस भी संचालित करता है, जिसका नाम है एचडीएफसी रिटायरमेंट सेविंग्स फंड इक्विटी प्लान (HDFC Retirement Savings Fund Equity Plan). 25 फरवरी 2016 को लॉन्च इस रिटायरमेंट प्लान ने पिछले 5 साल के दौरान अपने निवेशकों को शानदार रिटर्न दिए हैं.
2600 रुपये की SIP से जमा हुए 5 लाख रुपये
अगर किसी निवेशक ने 5 साल पहले HDFC रिटायरमेंट सेविंग्स फंड इक्विटी प्लान में सिर्फ 50 हजार रुपये एक साथ जमा करने के बाद महज 2600 रुपये की मंथली SIP शुरू की होगी, तो उसके पास अब तक 5 लाख रुपये से ज्यादा रकम जमा हो चुकी होगी. इस रिटर्न का पूरा कैलकुलेशन आप यहां देख सकते हैं :
HDFC Retirement Savings Fund Equity Plan (Direct)
- 5 साल पहले एकमुश्त निवेश (Upfront Investment) : 50 हजार रुपये
- 5 साल के दौरान मंथली SIP : 2600 रुपये
- 5 साल में एकमुश्त निवेश पर सालाना रिटर्न की दर : 27.91 %
- 5 साल के दौरान मंथली SIP पर एन्युलाइज्ड रिटर्न :31.07 %
- 5 साल के दौरान कुल निवेश (एकमुश्त + SIP) : 2,06,000 रुपये (2.06 लाख रुपये)
- 5 साल में किए गए निवेश की मौजूदा फंड वैल्यू : 5,05,745 रुपये (5.05 लाख रुपये)
रेगुलर SIP के जरिये निवेश का लाभ
ऊपर दिए गए डिटेल में आप देख सकते हैं कि एसआईपी पर एन्युलाइज्ड रिटर्न की दर, एकमुश्त निवेश के औसत सालाना रिटर्न से बेहतर है. दरअसल, सिस्टमैटिक इनवेस्टमेंट प्लान यानी SIP का मतलब है किसी म्यूचुअल फंड स्कीम में हर महीने एक फिक्स्ड अमाउंट का निवेश करना. SIP के जरिये निवेश पर न सिर्फ कंपाउंडिंग का लाभ मिलता है, बल्कि बाजार के उतार-चढ़ावों का बेहतर ढंग से सामना करने में भी मदद मिलती है. इसीलिए लंबे समय तक रेगुलर SIP जारी रखने को इक्विटी में इनवेस्ट करने का काफी बेहतर तरीका माना जाता है. इसका एक लाभ यह भी है कि एक साथ बड़ा अमाउंट जुटाकर निवेश करने की बजाय, छोटी-छोटी रकम लगाकर बड़ा कॉर्पस जुटाया जा सकता है.
HDFC रिटायरमेंट सेविंग्स फंड इक्विटी प्लान का पोर्टफोलियो
HDFC रिटायरमेंट सेविंग्स फंड इक्विटी प्लान के पोर्टफोलियो में इक्विटी की हिस्सेदारी लेटेस्ट आंकड़ों के मु्ताबिक 93.56% है, जबकि 0.81% निवेश रियल एस्टेट में लगा है. पोर्टफोलियो का बाकी 5.63% हिस्सा कैश और कैश जैसे एसेट्स के रूप में रखा गया है. स्कीम के इक्विटी पोर्टफोलियो में लार्ज कैप की हिस्सेदारी 50.28 फीसदी, मिड कैप की 22.11 फीसदी और स्मॉल कैप शेयर्स की हिस्सेदारी 10.24 फीसदी है. इस फंड के टॉप होल्डिंग्स में HDFC Bank, ICICI Bank, Infosys, Axis Bank, Reliance Industries और SBI जैसी दिग्गज कंपनियों के शेयर शामिल हैं. 23 अगस्त को इस स्कीम का एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) 5,923.79 करोड़ रुपये था. इस रिटायरमेंट फंड के डायरेक्ट प्लान का एक्सपेंस रेशियो 0.67% है और इसमें एकमुश्त या एसआईपी इनवेस्टमेंट सिर्फ 100 रुपये से शुरू किया जा सकता है.
सावधानी से करें निवेश
HDFC रिटायरमेंट सेविंग्स फंड इक्विटी प्लान के डिटेल से साफ है कि इस स्कीम का इक्विटी एक्सपोजर कितना अधिक है. इक्विटी फंड के पिछले रिटर्न को भविष्य में वैसे ही प्रदर्शन की गारंटी नहीं माना जा सकता. रिस्कोमीटर पर भी इस स्कीम को 'वेरी हाई रिस्क' की कैटेगरी में रखा गया है. लिहाजा, इस स्कीम में उन्हीं निवेशकों को पैसे लगाने चाहिए, जो शेयर मार्केट से जुड़ा रिस्क उठाने की क्षमता रखते हैं. इक्विटी फंड में निवेश का फायदा उठाने के लिए लंबी अवधि तक बने रहना चाहिए. इसलिए इस स्कीम में उन्हीं लोगों को निवेश करना चाहिए जो कम से कम 7 साल या उससे ज्यादा वक्त के लिए निवेश कर सकते हैं.
(डिस्क्लेमर: म्यूचुअल फंड में निवेश पर शेयर बाजार के उतार-चढ़ाव का सीधा असर पड़ता है. हमारा मकसद किसी फंड में निवेश की सलाह देना नहीं, सिर्फ जानकारी मुहैया कराना है. निवेश का कोई भी फैसला अपने निवेश सलाहकार की राय लेकर ही करें.)