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Retail Inflation Latest Data : फरवरी 2025 के दौरान खुदरा महंगाई दर 6 महीने में पहली बार 4% से नीचे आई है. Photograph: (File Photo : Indian Express)
Retail Inflation Latest Data : फरवरी 2025 में भारत की खुदरा महंगाई दर (CPI) घटकर 3.61% पर आ गई. पिछले छह महीनों में यह आंकड़ा पहली बार 4% से नीचे आया है. इस गिरावट का मुख्य कारण सब्जियों की कीमतों में कमी बताई जा रही है. जनवरी में खुदरा महंगाई दर 4.26% थी, जिसे संशोधित किया गया था. फरवरी का यह आंकड़ा अर्थशास्त्रियों के अनुमान से भी कम है. ऐसे में लोगों के मन में यह सवाल भी उठ रहा है कि क्या अब रिजर्व बैंक (RBI) ब्याज दरों में और कटोती करेगा?
फूड इंफ्लेशन में गिरावट बनी मुख्य वजह
खुदरा महंगाई दर में आई गिरावट का मुख्य कारण खाद्य महंगाई दर (Food Inflation) में कमी है. फरवरी में खाद्य महंगाई घटकर 3.75% पर आ गई, जबकि जनवरी में यह 5.97% थी. सब्जियों की कीमतों में 1.07% की गिरावट दर्ज की गई, जबकि जनवरी में यह 11.35% की बढ़ोतरी दिखा रही थी.
इसके अलावा, अनाज (Cereals) की महंगाई दर फरवरी में 6.1% रही, जो जनवरी के 6.24% के मुकाबले मामूली कम है. वहीं, दालों (Pulses) की कीमतें फरवरी में 0.35% घटीं, जबकि जनवरी में इनमें 2.59% की वृद्धि देखी गई थी.
अर्थशास्त्रियों की राय: ब्याज दरों में कटौती संभव
महंगाई दर में तेज गिरावट के बाद अब बाजार में यह चर्चा तेज हो गई है कि भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) अप्रैल में ब्याज दरों में कटौती कर सकता है. एक्सपर्ट्स का मानना है कि कम महंगाई के चलते आरबीआई मौद्रिक नीति को और नरम करने की दिशा में कदम उठा सकता है.
एलारा सिक्योरिटीज (Elara Securities) की अर्थशास्त्री, गरिमा कपूर (Garima Kapoor) का कहना है, "फरवरी में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) हमारे और बाजार के अनुमान से भी कम रहा, जिसका मुख्य कारण खाद्य महंगाई में तेज गिरावट है. अब हमारा अनुमान है कि वित्त वर्ष 2025 के लिए महंगाई दर 4.8% से भी नीचे जा सकती है. हम अप्रैल की मौद्रिक नीति में आरबीआई से 25 बेसिस पॉइंट्स की रेपो रेट कटौती की उम्मीद कर रहे हैं."
डीबीएस बैंक (DBS Bank, Singapore) की सीनियर इकॉनमिस्ट राधिका राव (Radhika Rao) ने कहा, "महंगाई दर उम्मीद से ज्यादा तेजी से घटी है, खासकर सब्जियों और दालों की कीमतों में गिरावट के चलते. हालांकि, सोने की कीमतों में बढ़ोतरी के कारण कोर महंगाई 4% तक पहुंच गई है. लेकिन इस गिरावट के बाद आरबीआई नीतिगत दरों में कटौती करने को लेकर ज्यादा सहज महसूस कर सकता है."
आगे का रुझान
महंगाई दर में आई यह गिरावट आम जनता के लिए राहत की खबर है. हालांकि, खाद्य वस्तुओं की कीमतों में स्थिरता बनाए रखना अहम होगा. विशेषज्ञों का मानना है कि अगर यह ट्रेंड जारी रहा, तो आने वाले महीनों में आरबीआई ब्याज दरों में कटौती कर सकता है, जिससे कर्ज लेने वालों को राहत मिलेगी.