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म्यूचुअल फंड में लो कास्ट इन्वेस्टमेंट के साथ चाहते हैं हाई रिटर्न, निवेश के पहले इन बातों पर ध्यान दें

Mutual Funds: निवेशक जब किसी म्‍यूचुअल फंड स्‍कीम की तलाश करते हैं तो उनके मन में सिर्फ यह होता है कि इसका पिछला रिटर्न कैसा रहा है और आगे इसमें अच्‍छा रिटर्न मिलेगा या नहीं.

Mutual Funds: निवेशक जब किसी म्‍यूचुअल फंड स्‍कीम की तलाश करते हैं तो उनके मन में सिर्फ यह होता है कि इसका पिछला रिटर्न कैसा रहा है और आगे इसमें अच्‍छा रिटर्न मिलेगा या नहीं.

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Sushil Tripathi
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Expense Ratio in Mutual Funds

Mutual Funds Return: अगर एक्‍सपेंस रेश्‍यो ज्‍यादा है तो स्‍कीम में मिलने वाली असली रिटर्न पर असर पड़ता है. (Pixabay)

Mutual Funds Investment/ Expense Ratio: निवेशक जब किसी म्‍यूचुअल फंड स्‍कीम की तलाश करते हैं तो उनके मन में सिर्फ यह होता है कि इसका पिछला रिटर्न कैसा रहा है और आगे इसमें अच्‍छा रिटर्न मिलेगा या नहीं. लेकिन वह उस स्‍कीम के एक्सपेंस रेश्यो यानी निवेश की लागत पर नजर नहीं डालते हैं. ऐसे में अगर एक्‍सपेंस रेश्‍यो ज्‍यादा है तो स्‍कीम में मिलने वाली असली रिटर्न पर असर पड़ता है. फंड का एक्सपेंस रेश्यो ही यह तय करता है कि उस स्कीम में निवेश करना आपको सस्ता पड़ेगा या महंगा. इसलिए बेहतर है कि किसी भी स्‍कीम में निवेश करने के पहले उसका एक्‍सपेंस रेश्‍यो जरूर चेक कर लें. 

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क्‍या होता है एक्‍सपेंस रेश्‍यो

आप जिस म्यूचुअल फंड स्‍कीम में पैसा लगाते हैं, उसको फंड मैनेजर द्वारा मैनेज किया जाता है. इसी मैनेजमेंट पर जो खर्च आता है, उसे एक्सपेंस रेश्यो के रूप में वसूला जाता है. इसमें एक प्रोफेशनल्स टीम होती है, जो बाजार पर नजर रखती है. इसमें ट्रांसफर और रजिस्ट्रार से संबंधित खर्च भी शामिल होते हैं. एक्सपेंस रेश्यो एक तरह से सालाना फीस होती है, जो प्रति यूनिट आने वाले खर्च को दिखाता है. लेकिन एक्‍सपेंस रेश्‍यो अलग अलग फंड हाउस अलग अलग लेते हैं. मसलन किसी स्‍कीम में यह 0.50 फीसदी तो दूसरे में 1 फीसदी औरर तीसरे में 1.50 फीसदी या ज्‍यादा भी हो सकता है.

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कैसे आपके रिटर्न पर होता है असर

इसे ऐसे समझ सकते हैं कि मान लिया आपने किसी फंड में 1 साल के लिए 1 लाख रुपये निवेश किया है. इस निवेश पर आपसे कुछ चार्ज लिए जाते हैं. इनमें सिक्‍योरिटी ट्रांजेक्‍शन टैक्‍स (STT), जो किसी सिक्‍योरिटी को खरीदने के लिए लिया जाने वाला डायरेक्‍ट टैक्‍स है. मान लिया कि STT 0.005 फीसदी है. यानी आपका असली निवेश 1 लाख रुपये नहीं बल्कि 99995 रुपये (Rs 1,00,000 - Rs 5.0) होगा. वहीं मान लिया कि इस स्‍कीम में आपको 1 फीसदी एक्‍सपेंस रेश्‍यो भी देना है.

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कुल निवेश: 1,00,000 रुपये
STT: 0.005 फीसदी यानी 5 रुपये
एक्‍चुअल इन्‍वेस्‍टमेंट: 99995 रुपये
फंड का रिटर्न: 10 फीसदी सालाना
रिटर्न के बाद कुल वैल्यू: 1,09,994.5 रुपये
एक्‍सपेंस रेश्‍यो: 1.5%
एक्‍सपेंस रेश्‍यो के लिए चार्ज: 1650 रुपये
असली रिटर्न: 1,08,344.5 रुपये (109994.5-1650)

यानी आपने जो 1 लाख रुपये निवेश किया है, उस पर 10 फीसदी रिटर्न के लिहाज से उस निवेश की वैल्‍यू 1,10,000 रुपये होनी चाहिए. लेकिन एसटीटी और एक्‍सप्रेस रेश्‍यो के चलते आपको असल में1,08,344.5 रुपये ही मिलेंगे. 

(नोट: हालांकि यहां यह बात ध्यान देने की होती है कि कम या ज्यादा एक्सपेंस रेश्यो से रिटर्न की गारंटी नहीं तय होती है. कई बार ज्यादा एक्सपेंस रेश्यो वाले फंड कम एक्सपेंस रेश्यो वाले फंड के मुकाबले ज्यादा रिटर्न देते हैं.)

Expense Ratio Mutual Funds Investment