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Marine Industry: मुक्का प्रोटीन्स फिशमील इंडस्ट्री लीडर्स में से एक है. मैरिन इंडस्ट्री में लगभग 5 दशकों का अनुभव है. (Pixabay)
Mukka Proteins IPO GMP: मुक्का प्रोटीन्स का आईपीओ (Mukka Proteins IPO) निवेश के लिए खुल गया है. इसमें 4 मार्च तक सब्सक्राइब किया जा सकता है. आईपीओ का साइज 224 करोड़ रुपए है. वहीं कंपनी ने इसके लिए प्राइस बैंड 26 से 28 रुपए प्रति शेयर तय किया है. शेयर का लिस्टिंग 7 मार्च को होगी. इस आईपीओ में 8 करोड़ शेयरों की फ्रेश इक्विटी बिक्री शामिल है, इसमें ओएफएस नहीं है. निवेशक न्यूनतम 535 इक्विटी शेयरों के लिए और उसके बाद कई गुना में बोली लगा सकते हैं. आईपीओ से पहले कंपनी ने एंकर इन्वेस्टरों से 67 करोड़ रुपये जुटाए हैं.
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ग्रे मार्केट में 61 फीसदी प्रीमियम
ग्रे मार्केट में Mukka Proteins को लेकर हलचल दिख रही है. इसका अनलिस्टेड स्टॉक 17 रुपये के प्रीमियम पर है. अपर प्राइस बैंड 28 रुपये के लिहाज से इसकी लिस्टिंग 45 रुपये पर हो सकती है. यानी 61 फीसदी लिस्टिंग गेंस मिल सकता है.
इस इश्यू में 50 फीसदी हिस्सा क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स के लिए रिजर्व है. 15 फीसदी हिस्स एनआईआई और 35 फीसदी हिस्सा रिटेल निवेशकों के लिए रिजर्व है. इश्यू के जरिए जुटाए गए फंड का इस्तेमाल कंपनी वर्किंग कैपिटल की आवश्यकताओं, इसके सहयोगी एंटो प्रोटीन्स में निवेश और सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों के लिए करेगी.
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लंबी अवधि के लिए करें सब्सक्राइब
Master Capital Services के असिस्टेंट वास प्रेसिडेंट - रिसर्च एंड एडवाइजरी, विष्णु कांत उपाध्याय ने इस आईपीओ में लंबी अवधि के लिए सब्सक्राइब करने की सलाह दी है. उनका कहना है कि मुक्का प्रोटीन्स के पास इंडियन मैरिन इंडस्ट्री (Marine Industry) में लगभग 5 दशकों का अनुभव है. यह फिशमील इंडस्ट्री लीडर्स में से एक है, जिसने भारत के पहले स्टीम स्टरलाइज्ड फिशमील प्लांट्स में से एक की स्थापना की है. वित्त वर्ष 2023 में इस इंडस्ट्री के वैल्यू के साथ-साथ वॉल्यूम में भी भारी उछाल देखने का अनुमान है. कंपनी ने सालाना आधार पर वैल्यू के हिसाब से 130-150% और वॉल्यूम के हिसाब से 90-110 फीसदी की ग्रोथ दर्ज की है और इसका फोकस फिशमील और मछली के तेल की ग्राहकों की मांग को पूरा करके बाजार हिस्सेदारी बढ़ाना है. कंपनी इंसेक्ट बेस न्यूट्रिशन में भारी संभावनाएं और मांग देख रही है और उसने ईपीपीएल के माध्यम से इंसेक्ट मील और इंसेक्ट ऑयल के निर्माण और बिक्री के बिजनेस में प्रवेश किया है, जो इंसेक्ट प्रोटीन के निर्माण के बिजनेस में लगी हुई है. कंपनी का इरादा चीन, चिली, जापान जैसे मौजूदा निर्यात बाजारों में अपनी उपस्थिति को मजबूत करने और नए बाजारों में प्रवेश की सुविधा प्रदान करने का है.
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कंपनी के साथ क्या है ताकत
• कंपनी फिश प्रोटीन प्रोडक्ट की अग्रणी निर्माता और निर्यातक है.
• स्थापित कस्टमर बेस और मजबूत रिश्ते.
• रणनीतिक रूप से लोकेटेड फैसिलिटी
• एंट्रा बैरियर इंडस्ट्री में नए खिलाड़ियों के प्रवेश को प्रतिबंधित करती हैं
• मजबूत और लगातार बेहतर वित्तीय प्रदर्शन
• क्वालिटी, पर्यावरण, स्वास्थ्य और सुरक्षा (QEHS) पर फोकस
• व्यापक डोमेन ज्ञान के साथ अनुभवी प्रमोटर डायरेक्टर्स
कंपनी के साथ Risks
• संचालन से अधिकांश रेवेन्यू सीमित संख्या में ग्राहकों से प्राप्त होता है.
• मुक्का मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटी II के लिए कुछ अप्रूवल और लाइसेंस प्राप्त करने, बनाए रखने और रिन्यू करने में विफलता हो सकती है, इससे बिजनेस पर असर होगा.
• आकर्षक लागत पर पूंजी तक पहुंचने की क्षमता कंपनी की क्रेडिट रेटिंग पर निर्भर करती है. क्रेडिट रेटिंग की अनुपलब्धता या खराब रेटिंग पूंजी तक पहुंच को प्रतिबंधित कर सकती है.
• कंपनी का अधिकांश रेवेन्यू भारत, चीन, वियतनाम और जापान में फिशमील की बिक्री से उत्पन्न होता है. प्रतिकूल विकास या मांग में बदलाव से बिजनेस पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है.
• कंपनी की अकार्बनिक ग्रोथ के अवसरों की खोज हो सकता है कि सफल न हो, ऐसे में लागत में बढ़ोतरी हो सकती है.
(Source: Master Capital Services)
(Disclaimer: स्टॉक में निवेश की सलाह ब्रोकरेज हाउस के द्वारा दी गई है. यह फाइनेंशियल एक्सप्रेस के निजी विचार नहीं हैं. बाजार में जोखिम होते हैं, इसलिए निवेश के पहले एक्सपर्ट की राय लें.)
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