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ITR filing 2025 : आईटीआर फाइल करने के बाद तय समय के भीतर उसका वेरिफिकेशन करना बेहद जरूरी है. (AI Generated Image)
Income Tax Return Filing and E-verification : इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने का सीजन चल रहा है और लाखों लोग अपना ITR फाइल भी कर चुके हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि सिर्फ ITR फाइल कर देना काफी नहीं है? अगर आपने उसे तय समय के अंदर वेरिफाई नहीं किया, तो आपकी पूरी मेहनत बेकार जा सकती है. टैक्स डिपार्टमेंट के नियम के अनुसार अगर आपने इनकम टैक्स रिटर्न को 30 दिनों के अंदर वेरिफाई नहीं किया, तो वह रिटर्न अमान्य (Invalid) हो जाएगा.
ITR फाइल करने के बाद क्यों जरूरी है वेरिफिकेशन?
आपके ITR फाइल करने की प्रॉसेस तब तक पूरी नहीं मानी जाती, जब तक उसे ई-वेरिफाई नहीं किया जाता. यह एक कंपल्सरी स्टेप है जो हर इनकम टैक्स भरने वाले को करना होता है. ई-वेरिफिकेशन न करने पर आपका रिटर्न प्रोसेस नहीं होगा और 30 दिन की डेडलाइन खत्म होने के बाद इनवैलिड मान लिया जाएगा. यानी न तो रिफंड मिलेगा और न ही ये माना जाएगा कि आपने टैक्स रिटर्न फाइल किया है.
ई-वेरिफिकेशन की समय सीमा और असर
अगर आपने 2025 में अपना रिटर्न फाइल किया है, तो ध्यान रखें कि रिटर्न फाइल करने की तारीख से 30 दिन के भीतर उसका ई-वेरिफिकेशन करना जरूरी है. अगर आपने इस समय सीमा के भीतर वेरिफाई कर दिया, तो रिटर्न की फाइलिंग (Itr Filing) की तारीख वही मानी जाएगी जिस दिन आपने उसे अपलोड किया था.
लेकिन अगर आपने ई-वेरिफिकेशन 30 दिन के बाद किया, तो उस तारीख को रिटर्न फाइलिंग (Income Tax Filing) की तारीख माना जाएगा जब आपने वेरिफिकेशन किया. इससे लेट फाइलिंग की पेनल्टी लग सकती है और रिफंड मिलने में देरी भी हो सकती है. और अगर आपने 30 दिन के अंदर वेरिफिकेशन किया ही नहीं, तो आपका ITR इनवैलिड घोषित कर दिया जाएगा.
कैसे करें ई-वेरिफिकेशन?
आज के डिजिटल दौर में ई-वेरिफिकेशन करना बेहद आसान हो गया है. आप अपने मोबाइल नंबर पर आधार से लिंक ओटीपी की मदद से इसे कर सकते हैं. इसके अलावा, नेट बैंकिंग, प्री-वैलिडेटेड बैंक अकाउंट से जेनरेट किया गया ईवीसी, डीमैट अकाउंट के जरिए ईवीसी, एटीएम से जनरेटेड कोड, या डिजिटल सिग्नेचर सर्टिफिकेट (DSC) का इस्तेमाल करके भी आईटीआर को ई-वेरिफाई किया जा सकता है.
आईटीआर-वी भेजने का ऑफलाइन तरीका
अगर आप ई-वेरिफिकेशन नहीं करना चाहते या नहीं कर पा रहे हैं, तो आप ITR-V को साइन करके ऑफलाइन भी भेज सकते हैं. इसके लिए आपको रिटर्न फाइल करने के बाद जेनरेट होने वाले ITR-V का एक प्रिंट-आउट निकालना होगा, जिसे साइन करने के बाद नीचे दिए गए पते पर स्पीड पोस्ट से भेज सकते हैं :
Centralised Processing Centre (CPC),
Income Tax Department,
Bengaluru - 560500, Karnataka
ध्यान रखें यह ITR-V भी रिटर्न फाइलिंग के 30 दिन के अंदर ही पहुंचना चाहिए. जब यह सही फॉर्मेट और समय पर पहुंचेगा, तभी आपका रिटर्न वैलिड माना जाएगा.
अगर आपने ITR फाइल कर दिया है तो उसे समय रहते वेरिफाई जरूर करें. यह एक छोटा सा स्टेप है, लेकिन बहुत जरूरी है. आपकी मेहनत, रिफंड और टैक्स रिकॉर्ड तभी सुरक्षित रहेंगे जब आप वेरिफिकेशन को नजरअंदाज नहीं करेंगे.