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Tata Mutual Fund NFO: टाटा एसेट मैनेजमेंट ने भारत में इन्नोवेशन का लाभ उठाने के उद्देश्य से नई स्कीम लॉन्च की है. (Image : Tata AMC Handout)
Tata Mutual Fund NFO : Tata India Innovation Fund: टाटा एसेट मैनेजमेंट (Tata AMC) की नई ओपन एंडेड इक्विटी स्कीम - टाटा इंडिया इन्नोवेशन फंड में सब्सक्रिप्शन आज यानी सोमवार 11 नवंबर से खुल गया है. टाटा इंडिया इन्नोवेशन फंड का मकसद देश की उन कंपनियों में निवेश करना है, जो भारत में इन्नोवेशन और टेक्निकल प्रोग्रेस की अगुवाई कर रही हैं. कंपनी का मानना है कि यह नई स्कीम आम निवेशकों को देश की तकनीकी प्रगति में हिस्सेदार बनने का मौका उपलब्ध कराएगी.
टाटा इंडिया इन्नोवेशन फंड NFO के जरिये जमा हुई रकम को उन कंपनियों में निवेश किया जाएगा जो इन्नोवेशन (Innovation) पर जोर देकर अपने सेक्टर्स में बड़े बदलाव लाने का काम कर रही हैं. इस नए फंड ऑफर में सब्सक्रिप्शन 11 नवंबर 2024 से 25 नवंबर 2024 तक खुला है.
टाटा इंडिया इन्नोवेशन फंड NFO में क्या है खास
लॉन्ग-टर्म कैपिटल ग्रोथ: यह फंड उन कंपनियों में निवेश करेगा जिनमें लंबी अवधि के दौरान कैपिटल ग्रोथ की संभावना नजर आ रही है.
इनवेस्टमेंट थीम: टेक्वनिकल ब्रेकथ्रू और इन्क्रिमेंटल इन्नोवेशन पर जोर देने वाली कंपनियों में निवेश करना इस फंड की इनवेस्टमेंट थीम है. ब्रेकथ्रू इन्नोवेशन नए प्रोडक्ट, सर्विसेज या बिजनेस मॉडल को जन्म देते हैं जबकि इन्क्रिमेंटल इन्नोवेशन मौजूदा प्रॉसेस में सुधार लाते हैं.
डायवर्सिफिकेशन: इस एनएफओ का लक्ष्य इन्नोवेशन की थीम को फॉलो करते हुए फाइनेंस, हेल्थ टेक,ग्रीन मोबिलिटी, कंज्यूमर टेक और डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर जैसे अलग-अलग सेक्टर्स में निवेश करना है. इस रणनीति के चलते डायवर्सिफिकेशन का लाभ भी मिलेगा.
इन्नोवेशन थीम का क्या है बड़ा फायदा
भारत में पब्लिक डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास और फाइनेंशियल सर्विसेज के डिजिटलाइजेशन ने निवेशकों के लिए नई संभावनाएं खोली हैं. इसके साथ ही, भारत के इलेक्ट्रिक वाहन (EV) सेक्टर, बैटरी टेक्नोलॉजी और रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर में भी तेजी से ग्रोथ हो रही है. फार्मास्युटिकल और हेल्थकेयर क्षेत्र में रिसर्च एंड डेवलपमेंट (R&D) में भी बड़े पैमाने पर निवेश किया जा रहा है, जिससे भारत दुनिया भर में रिसर्च और मैन्युफैक्चरिंग का एक महत्वपूर्ण केंद्र बनता जा रहा है. इन सभी क्षेत्रों में नए इन्नोवेशन करने वाली कंपनियों के लिए लंबी अवधि में लीडिंग पोजिशन हासिल करने की संभावना रहेगी. यानी यह फंड ऐसे बिजनेस पर फोकस करेगा जो तकनीकी इन्नोवेशन, डिजिटल बदलावों, और रिसर्च एंड डेवलपमेंट (R&D) में आगे हैं और लॉन्ग टर्म ग्रोथ हासिल करने की संभावना रखती हैं.
रिस्क रिटर्न मैनेजमेंट की रणनीति
टाटा इंडिया इन्नोवेशन फंड एक बॉटम-अप और इन्नोवेशन-लीड स्टॉक सेलेक्शन की फिलॉसफी को फॉलो करेगा, जिससे फंड के इनवेस्टमेंट्स में रिस्क और रिटर्न दोनों को मैनेज किया जा सके. इसका उद्देश्य अलग-अलग मार्केट कैपिटलाइजेशन वाली कंपनियों और सेक्टरों में निवेश के अवसरों की पहचान करना है.
'वोकल फॉर लोकल' का मिलेगा लाभ
सरकार के 'वोकल फॉर लोकल' अभियान और प्रोग्रेसिव नीतियों की वजह से भारत ग्लोबल इन्नोवेशन इंडेक्स में काफी ऊपर आ चुका है. अभी भारत इस इंडेक्स में 39वें नंबर पर है, जबकि 2015 में हम 81वें नंबर पर थे. टाटा एएमसी के बिजनेस ऑफिसर आनंद वारदराजन के अनुसार, “आज के समय में निवेश का सबसे महत्वपूर्ण पहलू है उन कंपनियों को चुनना जो अगले दशक में मजबूत ग्रोथ हासिल करने की क्षमता रखती हैं. ऐसे में इन्नोवेशन एक जरूरी चीज है, जो कंपनियों को कंपटीशन में लगातार आगे रहने की क्षमता देता है.”
Tata AMC NFO की बड़ी बातें
स्कीम का नाम: Tata India Innovation Fund
स्कीम टाइप: इक्विटी-थीमैटिक (ओपन-एंडेड इक्विटी स्कीम जो इन्नोवेशन थीम पर आधारित है)
NFO खुलने की तारीख: 11 नवंबर 2024
NFO बंद होने की तारीख: 25 नवंबर 2024
बेंचमार्क: Nifty 500 TRI
रिस्क लेवल: बहुत अधिक (Very High)
मिनिमम इनवेस्टमेंट : एकमुश्त निवेश के लिए : 5,000 रुपये और उसके बाद 1 रुपये के मल्टीपल में.
मिनिमम इनवेस्टमेंट (SIP): 100 रुपये और उसके बाद 1 रुपये के मल्टीपल में.
एग्जिट लोड: अलॉटमेंट के 90 दिनों के भीतर यूनिट्स को रिडीम करने पर 1%
फंड मैनेजर: मीता शेट्टी (फाइनेंशियल मार्केट में 18 साल का अनुभव), कपिल मल्होत्रा (ओवरसीज इनवेस्टमेंट)
क्या आपको इस NFO में करना चाहिए निवेश?
टाटा इंडिया इन्नोवेशन फंड का NFO उन निवेशकों के लिए सही है जो लॉन्ग-टर्म में वेल्थ क्रिएशन करना चाहते हैं और देश में हो रहे तकनीकी और इन्नोवेशन आधारित बदलावों का फायदा उठाना चाहते हैं. यह फंड, इन्नोवेशन के जरिये बदलाव की इस लहर में आगे रहने वाली कंपनियों को अपने पोर्टफोलियो में शामिल करेगा. हालांकि निवेश का फैसला करने से पहले यह बात भी ध्यान में रखनी चाहिए कि इस थीम आधारित इक्विटी फंड को रिस्कोमीटर पर बहुत अधिक जोखिम (Very High Risk) की कैटेगरी में रखा गया है. इसलिए इसमें निवेश का फैसला तभी करना चाहिए, जब आप ज्यादा रिस्क लेने की क्षमता रखते हैं और ऊंचे रिटर्न के लिए लंबी अवधि तक इनवेस्टेड रह सकते हैं.
(डिस्क्लेमर : इस आर्टिकल का मकसद सिर्फ जानकारी देना है, किसी स्कीम में निवेश की सिफारिश करना नहीं. निवेश से जुड़े फैसले अपने निवेश सलाहकार की राय लेने के बाद ही करें.)